यूपी के मुजफ्फरनगर जिले के एक सरकारी स्कूल के 9 कर्मचारियों को बर्खास्त किया गया है, जिनपर इसी साल मार्च महीने आरोप लगा था की उन्होंने जबरन स्कूल में पढ़ने वाली करीब 70 नाबालिग बच्चियों की कपडे उतरवा कर तलाशी ली थी। इस घटना के वक्त काफी बवाल भी हुआ था।
इस घटना की मजिस्ट्रेट जांच के आदेश दिए गए थे और अब जाकर दोषी कर्मचारियों को बर्खास्त कर दिया गया है। इस मामले में मुख्य आरोपी डॉक्टर सुरेखा तोमर जो इस स्कूल की वार्डन है जिन्होंने 8 अन्य लोगों के साथ मिलकर छात्राओं को इस तरह की तलाशी के लिए मजबूर किया था।
ये घटना मुजफ्फरनगर के कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय की है, वार्डन को इस घटना के कुछ समय बाद ही सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था। एसडीएम सदर मुजफ्फरनगर रेनू सिंह ने डीएम द्वारा जांच के आदेश देने के बाद इस घटना की बारीकी से जांच की और दोषियों के खिलाफ कार्यवाही की गयी है।
इस घटना के आरोपी वार्डन समेत अन्य स्टाफ के सभी तरह के अनुबंधों को भी ख़ारिज कर दिया गया है। सुरेखा तोमर के बाद वार्डन बनी नीता चौधरी, के आलावा 3 टीचर, एक अकाउंटेंट ,दो कुक और एक चपरासी इस घटना में दोषी पाए गए और डीएम ने आरोप साबित होने पर रविवार को इन लोगों की बर्खास्तगी के आदेश जारी किये। इस महीने के बाद इन सभी आरोपियों के अनुबंध का नवीनीकरण होना था।
इस आदेश के बाद अभिभावकों ने ख़ुशी जताई है, और उन्हें संतोष है भविष्य में इस तरह की घटना पर लगाम लगाई जा सकेगी। अभी संभव है इन दोषियों को सजा भी हो सकती है।