लोकसभा चुनाव 2024

पहला चरण - 19 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

102 सीट

दूसरा चरण - 26 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

89 सीट

तीसरा चरण - 7 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

94 सीट

चौथा चरण - 13 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

96 सीट

पांचवां चरण - 20 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

49 सीट

छठा चरण - 25 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

सातवां चरण - 1 जून

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

लोकसभा चुनाव पहला चरण - 19 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

102 सीट

यहां जुगाड़ की रोशनी से हो रहे ऑपरेशन…

NULL

नई दिल्ली: टेबल लैंप इसके बारे में तो आप जानते ही होंगे। इसका प्रयोग अक्सर हम पढ़ाई के दौरान करते हैं। लेकिन सुनकर आश्चर्य होगा कि दिल्ली के सरकारी अस्पतालों में टेबल लैंप जैसी ही रोशनी में डॉक्टर गंभीर मरीजों का ऑपरेशन करते हैं। कहने को तो ऑपरेशन थियेटर में बड़ी-बड़ी लाइटें लगी हैं, लेकिन कहीं ये बंद पड़ी हैं तो कहीं ये लंबे समय से खराब हैं।

रोहिणी स्थित बाबा भीमराव आंबेडकर अस्पताल में भी कुछ ऐसे ही हालात देखने को मिल रहे हैं। डॉक्टरों की मानें तो 8 महीने से यहां ओटी लाइट्स खराब पड़ी हैं। ज्यादा मांग करने पर उन्हें कुछ समय पहले एक टेबल लैंप जैसी सुविधा दी गई है, जिसकी रोशनी टेबल लैंप से तो ज्यादा रहती है, लेकिन इतनी भी नहीं कि डॉक्टर मरीज की सर्जरी कर डाले। अस्पताल के सूत्रों का कहना है कि ऑपरेशन थियेटर की लाइटें करीब 8 महीने से खराब पड़ी हैं। कई बार अस्पताल प्रबंधन से लेकर सरकार तक के संज्ञान में डाला गया है। इसके बाद भी स्थिति जस की तस बनी हुई है। हालात यह हैं कि डॉक्टरों को माइनर ओटी की लाइट्स से काम चलाना पड़
रहा है।

फेडरेशन ऑफ रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन (फोर्डा) के पूर्व अध्यक्ष डॉ. पंकज सोलंकी बताते हैं कि बाबा भीमराव आंबेडकर अस्पताल की ओटी में लाइटें खराब होने की जानकारी उन्हें भी है। उनका कहना है कि ऑपरेशन थियेटर में दो तरह की लाइटें होती हैं। कम और ज्यादा दृश्यता वाली। छोटे और बड़े दोनों तरह के ऑपरेशन में अलग-अलग लाइट्स का उपयोग किया जा सकता है। इनके बीच दृश्यता की तुलना करें तो बड़े ऑपरेशन में डॉक्टरों को करीब 80 फीसदी तक कम दृश्यता से ऑपरेशन करना पड़ रहा है। जोकि नियमों के खिलाफ है। डॉ. सोलंकी का कहना है कि अस्पताल से जुड़ी हर समस्या का दोषी डॉक्टर को ठहराया जाता है। जबकि हकीकत में डॉक्टरों की परेशानी को नजरअंदाज किया जा रहा है।

अधिक जानकारियों के लिए बने रहिये पंजाब केसरी के साथ।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

two × 3 =

पंजाब केसरी एक हिंदी भाषा का समाचार पत्र है जो भारत में पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली के कई केंद्रों से प्रकाशित होता है।