डेटा लीक विवाद में माफी मांग चुके सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक के चीफ मार्क जकरबर्ग ने अब ब्रिटेन के समाचारपत्रों में फुल पेज का माफीनामा प्रकाशित करवाया है। बता दें कि इस डेटा लीक ने भारत सहित कई देशों में तहलका मचा दिया है। अखबार के पिछले पन्ने पर प्रकाशित माफीनामे में उन्होंने कहा, ‘आपकी सूचना सुरक्षित रखना हमारी जिम्मेदारी है। हम अगर नहीं कर सकते तो हम इसके योग्य नहीं हैं।’
जुकरबर्ग ने बताया कि ‘एक यूनिवर्सिटी रिसर्चर द्वारा एक क्विज विकसित की गई जिससे साल 2014 में लाखों लोगों का फेसबुक डाटा लीक हुआ। ये भरोसा तोड़ना था। मुझे खेद है कि हम उस समय ज्यादा कुछ नहीं कर पाए. अब हम ये सुनिश्चित करने के लिए कदम उठा रहे हैं कि आगे कभी भी ऐसा कुछ न हो।
ये विज्ञापन पिछले हफ्ते मार्क जुकरबर्ग द्वारा दिए गए सार्वजनिक बयान पर ही आधारित था. यूरोप और अमेरिका में जांच और फेसबुक की गिरती शेयर कीमतों के बाद जुकरबर्ग ने ये बयान दिया था। जुकरबर्ग ने दोहराया कि फेसबुक ने नियमों में बदलाव किया है जिससे आगे ऐसा कोई डेटा उल्लंघन नहीं हो सकता।
उन्होंने लिखा कि हम हर एक ऐप की जांच कर रहे हैं जो ज्यादा मात्रा में डेटा को एक्सेस करता है। और अगर हम ऐसा ऐप पाते हैं तो उसे तुरंत बैन करेंगे और जो भी इससे प्रभावित होगा उसे सूचना देंगे।
हालांकि इसमें अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के 2016 अभियान पर काम करने वाले ब्रिटिश फर्म कैंब्रिज एनालिटिका जिस पर डेटा लीक का आरोप है, उसका कोई जिक्र नहीं किया गया। केवल डेटा नियमों के किसी भी संभावित उल्लंघन के लिए कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी के शोधकर्ता एलेक्सेंडर कोगन को दोषी ठहराया गया।
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