नयी दिल्ली : दिल्ली के पूर्व मंत्री कपिल मिश्रा ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर हवाला कारोबारियों और माफियाओं के साथ सांठगांठ का सनसनीखेज आरोप लगाते हुए आज कहा कि जब तक वह मुख्यमंत्री को जेल की सलाखों के पीछे नहीं पहुंचा देते चुप नहीं बैठेंगे।
केजरीवाल को जेल पहुंचाकर ही दम लूंगा
आम आदमी पार्टी (आप) से निष्कासित करावल नगर से विधायक श्री मिश्रा ने आज संवाददाता सम्मेलन में श्री केजरीवाल पर नये आरोप लगाते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने कालेधन को सफेद करने के लिए नोटबंदी का विरोध किया। उनके हवाला कारोबारियों और माफियाओं से संबंध है। इन आरोपों के बाद श्री केजरीवाल से इस्तीफे की मांग करते हुए श्री मिश्रा ने कहा कि नये खुलासों के बाद उन्हें अपनी जान का भी खतरा है। इस मौके पर कथित सबूत एकत्रित करने में श्री मिश्रा की मदद करने वाले नील भी मौजूद थे। उन्होंने कहा, ”केजरीवाल का कॉलर मेरे हाथ में है और मैं अब उन्हें जेल पहुंचाकर ही दम लूंगा।”
श्री मिश्रा ने कहा कि दो करोड़ रुपये के चंदे की प्राप्ति के लिये जिस मुकेश कुमार नाम के व्यक्ति का वीडियों सामने लाया गया, वह झूठा वीडियो है। पूर्व मंत्री कहा कि नोटबंदी के दौरान गिरफ्तार किये गये रोहित टंडन की कंपनी के निर्देशक हेमप्रकाश शर्मा नाम के व्यक्ति को बचाने के लिये मुकेश कुमार को आगे किया गया।
कंपनियों के जिस लेटर पैड पर कल आप पार्टी ने चंदा देने की बात कही थी, श्री मिश्रा ने कहा कि यह फर्जी है और घर में बैठकर बनाये गये है। उनका यह भी दावा था कि एक कंपनी के लेटर पैड पर लिखे खत में जो हस्ताक्षर है वह मुकेश कुमार के है ही नहीं। पहले श्री केजरीवाल ने कहा था कि उन्हें यह मालूम नहीं है कि पार्टी को चंदा कहां से मिला मुख्यमंत्री भारतीय राजस्व सेवा के पूर्व अधिकारी है और कानून जानते है। इसलिये उन्हें अब यह बताना होगा कि दो करोड़ रुपये का चंदा कहां से आया। चंदे की तारीख को लेकर भी श्री मिश्रा ने सवाल उठाये और कहा कि मुकेश कुमार ने जब चंदा दिया उस समय वह कंपनी में निर्देशक थे ही नहीं।
श्री मिश्रा ने मुकेश कुमार को बैंक डिफॉल्टर बताते हुए कहा कि जिस शख्स को वैट अदा नहीं करता , कर्जा नहीं उतारता, टैक्स नहीं भरता किन्तु दो करोड़ का चंदा दे सकता है। उनका कहना था कि जिस कंपनी को 2014 में ही ताला लग जाना चाहिये था वह अभी तक कैसे चल रही है। यह सीधे-सीधे जन धन की लूट और भ्रष्टाचार का मामला है। उनका आरोप था कि हवाला से जुड़े हेमप्रकाश शर्मा को बचाने के लिये मुकेश कुमार को आगे किया गया ।
‘आप’ को चंदा देने वाली कंपनियां फर्जी
आप पार्टी को चंदा देने वाली कंपनियों को फर्जी बताते हुए श्री मिश्रा ने दावा किया कि नोटबंदी के दौरान श्री केजरीवाल इसलिये बदहवास और बौखलाये हुए थे क्योंकि जिन कंपनियों पर छापे पड़ रहे थे उनके मालिको और निर्देशकों से उनके संबंध थे। पूर्व मंत्री ने आप नेताओं के विदेशी दौरों पर किये गये खर्च सार्वजनिक किये जाने की अपनी मांग दोहराते हुए कहा कि जिस दिन यह सामने आ जायेंगे , श्री केजरीवाल को देश से भागने की नौबत आयेगी।
संवाददाता सम्मेलन में कथित खुलासा करने से पहले श्री मिश्रा ने ट्विट करके आप के विधायकों से अनुरोध किया था कि वह आज दिखाये जाने वाले सबूतों को जरूर देंखे। गौरतलब है कि श्री मिश्रा ने श्री केजरीवाल पर ऊर्जा मंत्री सत्येन्द्र जैन से दो करोड़ रुपये लेने का आरोप लगाया था । मंत्रिमंडल से हटाये जाने के बाद श्री मिश्रा लगातार श्री केजरीवाल पर निशाना साध रहे है और पानी टैंकर घोटाले में भ्रष्टाचारा निरोधक शाखा और केन्द्रीय जांच ब्यूरो तथा केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड में अपनी शिकायत दर्ज करा चुके है।