उज्जैन : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से विभिन्न मामलों की समीक्षा की। इस दौरान मुख्यमंत्री एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा प्रदेश में कानून व्यवस्था, मजदूर सुरक्षा, भविष्य में होने वाले शासकीय कार्यक्रमों, न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदी, भावांतर भुगतान योजना एवं अन्य विषयों पर चर्चा की गई। वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान उज्जैन एनआईसी कक्ष में एडीजी व्ही.मधुकुमार, डीआईजी रमणसिंह सिकरवार, संभागायुकत श्री एमबी ओझा, कलेक्टर संकेत भोंडवे, संयुक्त आयुक्त विकास श्री प्रतीक सोनवलकर, अपर कलेक्टर वसन्त कुर्रे, नगर निगम आयुक्त डॉ.विजय कुमार, सीईओ जिला पंचायत संदीप जीआर एवं अन्य सम्बन्धित विभागों के अधिकारी मौजूद थे।
मुख्यमंत्री चौहान ने वीसी के माध्यम से प्रदेश के समस्त संभागायुक्त, आईजी, कलेक्टर एवं एसपी को निर्देश दिए कि कानून व्यवस्था में किसी भी तरह की ढिलाई कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। विभिन्न अपराधों को रोकने में पिछले कुछ समय में सभी जिलों में अच्छा काम हुआ है। लोगों में सुरक्षा की भावना पैदा हुई है।
सबका संकल्प यही होना चाहिए कि जनता के मन में यह भाव सदैव बना रहे और अपराधियों के मन में पुलिस का खौफ पैदा हो। केवल निर्देशों से इसे नियंत्रित नहीं किया जा सकता है, अतरू इसके लिए अपने स्तर पर कठोर कदम उठाने होंगे। मुख्यमंत्री ने पुलिस विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को निर्देश दिए कि विभिन्न आपराधिक प्रकरणों में जो कार्यवाही अभी तक हुई है, उनमें बाउंड-ओवर की कार्यवाही भी शीघ्र की जाए।
आदतन अपराधियों एवं बदमाशों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही निरंतर जारी रहनी चाहिए। ऐसे आरोपी जो काफी समय से फरार हैं, उनकी संपत्ति कुर्क करने की कार्यवाही की जाए। ये भी प्रयास किया जाए कि अपराधी अधिक समय तक फरार ना रहें। कलेक्टर और नगर निगम आयुक्त बदमाशों द्वारा किए गए अवैध कब्जों को सख्ती से हटाने की कार्यवाही करें। चिन्हित अपराधों की नियमित रूप से समीक्षा की जानी चाहिए। बड़े शॉपिंग मॉल पर भी सीसीटीवी कैमरे के माध्यम से सतत निगरानी रखी जाए।
संवेदनशील स्थानों पर पुलिस द्वारा समय-समय पर गश्त लगाई जाए। समस्त कलेक्टर और एसपी अपने जिलों में नियमित रूप से कानून व्यवस्था की समीक्षा करें। इसमें निचले स्तर से लेकर ऊपर तक उचित मॉनिटरिंग करने की जरूरत है। आदिवासियों के जो भी प्रकरण लंबित हो उनका शीघ्र निराकरण किया जाए। मजदूर सुरक्षा योजना के तहत समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि मजदूरों का पंजीयन एवं सत्यापन कार्य आवश्यक रूप से करवाया जाए।
आगामी 17 अप्रैल को मजदूर महासम्मेलन आयोजित किया जाएगा, जिसमें उन्हें शासन की विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत लाभान्वित किया जाएगा। कृषि से सम्बन्धित विभिन्न मुद्दों की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में किसानों के लिये जो किया गया है, वह अभूतपूर्व है। आगामी 16 अप्रैल को 200 रूपये प्रति क्विंटल के मान से किसानों के खाते में बोनस राशि डाली जायेगी। सभी अधिकारी फैक्स के माध्यम से किसानों के बैंकों के खाता नम्बर बुलवायें और उसे अपडेट करें।
जिन किसानों ने अभी तक एक बार भी पंजीयन नहीं कराया है वे 31 मार्च तक आवश्यक रूप से पंजीयन करा लें। समर्थन मूल्य पर खरीदी के दौरान कलेक्टर और एसपी कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिये सतत निगरानी रखें। मुख्यमंत्री ने कहा कि ये समय अधिकारियों की प्रशासनिक दक्षता की परीक्षा होगा। किसी भी तरह की समस्या उत्पन्न होने की नौबत नहीं आनी चाहिये। किसानों के प्रति समस्त अधिकारी मानवीय संवेदनाओं को प्राथमिकता पर रखें। किसानों का हित हमारे लिये सर्वोपरि होना चाहिये।
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