हिंदू धर्म में गंगा स्नान का अत्यधिक महत्व होता है। ऐसी मान्यता है कि गंगा में स्नान करने से जीवन के सभी पापों से छुटकारा मिलता है।
गंगा में स्नान करने से पाप दूर होते हैं, इस वजह से इसे पापमोचिनी भी कहा जाता है। कई विशेष तिथियों में गंगा में स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है।
वहीं, गंगा में स्नान करते समय कुछ नियमों का पालन करना चाहिए, जिससे स्नान करने का पूर्ण फल प्राप्त होगा। ऐसे कुछ नियमों के बारे में बताएंगे।
जब भी गंगा में स्नान करने जाएं, तो पहले हाथ जोड़कर प्रणाम करें और हाथों में जल लेकर माथे पर लगाएं। ऐसा करने के बाद ही गंगा में प्रवेश करें।
वहीं, गंगा में स्नान करते वक्त 3, 5 या 7 बार डुबकी लगाएं। ऐसा करने से सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और कार्यों में सफलता प्राप्त होती है।
गंगा में स्नान करते समय 'गंगा पापं शशी तापं दैन्यं कल्पतरुस्तथा। पापं तापं च दैन्यं च हन्ति सज्जनसङ्गमः ।।' मंत्र का जाप करना चाहिए। ऐसा करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है।
गंगा में स्नान करते समय कभी भी साबुन का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। इसके साथ ही गंगा में स्नान के बाद शरीर को कपड़े से न पोछे।