बिहार में पूर्णिया जिले के केहाट थाना में राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के बागी दलित नेता शक्ति मलिक की रविवार हुई हत्या के मामले में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव और उनके बड़े भाई तेजप्रताप यादव समेत छह लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई गई है।
राजद के दलित नेता शक्ति मलिक की पत्नी ने रविवार को केहाट थाना में राजद और प्रतिपक्ष के नेता तेजस्वी प्रसाद यादव, उनके बड़े भाई तेजप्रताप यादव के अलावा अनिल कुमार साधु, मनोज पासवान, कालू पासवान और सुनीता देवी तथा तीन अज्ञात शूटरों के खिलाफ हत्या का आरोप लगाते हुए प्राथमिकी दर्ज कराई है।
श्री मलिक के मुर्गी फार्म रोड स्थित आवास पर रविवार सुबह तीन की संख्या में आए नकाबपोश अपराधियो ने ताबड़तोड़ गोलीबारी शुरू कर दी। इस दौरान श्री मलिक की गोली लगने से उनकी मौत हो गई। विरोध करने पर अपराधियों ने उनकी पत्नी के साथ भी मारपीट की। इसके बाद सभी अपराधी मौके से फरार हो गए।
राजद के अनुसूचित जाति-जनजाति प्रकोष्ठ के पूर्व प्रदेश सचिव शक्ति मलिक ने 29 सितंबर को एक रिकॉर्ड की गई वीडियो में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव पर उन्हें जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाया था। शक्ति मलिक ने कहा था कि श्री तेजस्वी यादव विधानसभा का टिकट देने के बदले में 50 लाख रुपये चंदा देने की मांग की थी। इस पर जब उसने सोच कर जवाब देने की बात कही तो श्री तेजस्वी यादव ने उसे जाति सूचक शब्द कहते हुए घर से भगा दिया था। श्री मलिक ने वीडियो में आरोप लगाया है, ‘‘श्री तेजस्वी यादव ने उसे धमकी देते हुए कहा था कि वह राष्ट्रीय नेता श्री लालू प्रसाद यादव के पुत्र हैं और बिहार के उप मुख्यमंत्री रह चुके हैं। अगर अब तुम अपने क्षेत्र में काम करने जाओगे और अपने समाज के लोगों को एकजुट करोगे तो तुम को जान से मरवा दिया जाएगा।’’ शक्ति मलिक की पत्नी खुशबू ने कहा कि उनके पति ने चुनाव लड़ने के लिए टिकट मांगा तो उन्हें पार्टी से निकाल दिया गया। वे अब निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने वाले थे लेकिन राजद के लोगों ने उनकी हत्या कर दी।