अरुणाचल प्रदेश में जेडीयू विधायकों के बीजेपी में शामिल होने के बाद बिहार में एनडीए घटकों के संबंधों में आई खटास का आरजेडी लाभ उठाने का प्रयास कर रहा है। आरजेडी ने दावा है कि जेडीयू के 17 विधायक उनके संपर्क में हैं और वे आरजेडी में शामिल होना चाहते हैं। आरजेडी के इस दावे पर जेडीयू प्रमुख और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की प्रतिक्रिया सामने आई है।
मुख्यमंत्री नीतीश ने आरजेडी के दावे को नकारते हुए पूरी तरह से निराधार बताया है। वहीं जेडीयू ने भी आरजेडी के इस दावे का जोरदार खंडन किया है। जेडीयू के प्रवक्ता राजीव रंजन ने कहा कि आरजेडी को पहले अपने घर को बचाना चाहिए। श्याम रजक ने बुधवार को दावा करते हुए कहा कि जेडीयू के 17 विधायक उनके सपर्क में हैं, जो नीतीश कुमार की सरकार को गिराना चाहते हैं।
उन्होंने कहा, “जेडीयू के कई विधायक बीजेपी की कार्यशैली से नाराज हैं। जिस प्रकार बीजेपी हावी हो रही है और फैसले ले रही है, उससे जेडीयू के विधायक परेशान हैं। ये लोग बीजेपी को हावी नहीं होने देना चाह रहे हैं। ऐसे में 17 विधायक आरजेडी के संपर्क में हैं।” उन्होंने दावा करते हुए यह भी कहा कि हम उन्हीं विधायकों को अपनी पार्टी में शामिल करेंगे, जो समाजवाद व धर्मनिरपेक्षता के समर्थक होंगे।
आरजेडी का CM नीतीश कुमार को बड़ा ऑफर
श्याम रजक से पहले राज्य विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष और आरजेडी नेता उदय नारायण चौधरी ने कहा, बीजेपी छोटे दलों को पसंद नहीं करती और उनको नष्ट करना चाहती है। इसलिए बीजेपी चाहती है कि जेडीयू एनडीए छोड़ दे। हम नीतीश कुमार से एनडीए छोड़ने, महागठबंधन में शामिल होने और तेजस्वी यादव को सीएम बनाने की अपील करते हैं। उन्हें राष्ट्रीय राजनीति में प्रवेश करना चाहिए और विपक्ष का नेतृत्व करना चाहिए।