पटना : युवा कांगे्रस के पूर्व अध्यक्ष ललन कुमार ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के एकमात्र बहुप्रचारित चुनावी वादे को पूरी तरह से भष्टाचार की भेंट चढ़ा दिया गया। बिहार के लगभग सभी जिलों से सात निश्चय योजना में भारी भष्टाचार की खबरें आती रही हैं, जिसपर स्वयं मुख्यमंत्री जी ने भी अधिकारियों को नहीं बख्शने की बात की थी पर हर बार की तरह मुख्यमंत्री की बातें हवा-हवाई निकली। कोई अधिकारी भी अब मुख्यमंत्री की बातों को गम्भीरता से लेना नहीं चाहता,या स्वयं मुख्यमंत्री ही नहीं चाहते की सात निश्चय योजना से जनता का कुछ भी भला हो। वे अपने गठबंधन साथियों के सामने मजबूर हैं।
सात निश्चय योजना से जुड़े अधिकारी ही कई सोशल प्लेटफॉर्म पर यह मानते हैं की इसमें 90प्रतिशत से अधिक राशि का घपला हुआ है। हर घर नल का जल पहुंचा ना ही निर्बाध बिजली,शौचालय का समान सभी घोटालों में धराशायी हो गया, महिलाओं को अधिकार और आरक्षण से ज्यादा उनके दुष्कर्म की घटना चर्चित है।
गली गली पक्की सडक़ और नाली योजना डेढ़ वर्षों से ठप है, स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड अब गायब हो गया। कुल मिलाकर सरकार सात निश्चय योजना को ही भूल गयी क्योंकी सात निश्चय के विरोधियों संग नितीश जी सरकार में आ गए। बिहार की जनता नीतीश-मोदी जी की सरकार का जल्द ही हिसाब करेगी। नीतीश सरकार अब भी स्थानीय निकाय जनप्रतिनिधियों को उनके अधिकारों से मरहूम कर उनके हिस्से की राशि का सात निश्चय योजना अंतर्गत घालमेल कर इस्तेमाल करने की कोशिश कर रही है और दुर्भाग्य ये है कि तब भी कोई भी काम एक कदम भी आगे नहीं बढ़ रहा। सरकार कुछ भी करने में सक्षम नहीं है । जनता इनके झूठ, भ्रष्टाचार , नाकामियों का पर्दाफाश आगामी चुनाव में जरूर करेगी।