वैश्विक बाजारों के मिश्रित रुझानों के बीच घरेलू स्तर पर ऑटो, धातु और तेल एवं गैस जैसे प्रमुख समूहों की कंपनियों में लगातार दूसरे दिन बिकवाली का दबाव बना रहा जिससे बीएसई का सेंसेक्स 15.45 अंक गिरकर बंद हुआ जबकि नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का निफ्टी 7.85 अंक की बढ़त बनाकर 11,900 अंक के पार बने रहने में सफल रहा।
बीएसई का 30 शेयरों वाला संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 15.45 अंक गिरकर 39,741.36 अंक पर बंद हुआ। इस दौरान एनएसई का निफ्टी 7.85 अंक की बढ़त लेकर 11,914.05 अंक पर रहा। दिग्गज कंपनियों की तुलना में छोटी और मझौली कंपनियों में बिकवाली का दबाव अधिक दिखा। बीएसई का मिडकैप 0.33 प्रतिशत फिसलकर 14,872.97 अंक पर और स्मॉलकैप 0.50 प्रतिशत उतरकर 14,476.38 अंक पर रहा।
बीएसई में शामिल प्रमुख समूह गिरावट में रहे जिसमें ऑटो 0.44 प्रतिशत, धातु 0.21 प्रतिशत और तेल एवं गैस 0.19 प्रतिशत शामिल हैं। बढ़त में रहने वालों में रियल्टी 0.62 प्रतिशत, पावर 0.56 प्रतिशत, पूँजीगत वस्तुएँ 0.22 प्रतिशत और बैंकिंग 0.10 प्रतिशत शामिल हैं।
यूरोपीय बाजारों के गिरावट में रहने के कारण सेंसेक्स करीब 77 अंक फिसलकर 39,679.35 अंक पर खुला। इसके बाद बिकवाली का दबाव बना रहा जिसके कारण मध्य सत्र में यह 39,461.27 अंक के दिवस के निचले स्तर तक फिसला। हालाँकि यूरोपीय बाजारों के तेजी के साथ खुलने से मजबूत हुई निवेशधारणा के बल पर लिवाली शुरू होने से यह सत्र के आखिरी चरण में 39,800.81 अंक के दिवस के उच्चतम स्तर तक चढ़।
अंत में यह पिछले दिवस के 39,756.81 अंक की तुलना में 15.45 अंक अर्थात 0.04 प्रतिशत की गिरावट लेकर 39,741.36 अंक पर बंद हुआ। इसी तरह से एनएसई का निफ्टी 33 अंकों की गिरावट लेकर 11,873.90 अंक पर खुला और देखते ही देखते 11,817.05 अंक के निचले स्तर तक फिसल गया।
इसके बाद शुरू हुयी लिवाली के बल पर यह 11,931.35 अंक के उच्चतम स्तर चढ़। अंत में यह पिछले दिवस के 11,906.20 अंक की तुलना में 7.85 अंत अर्थात 0.07 प्रतिशत बढ़कर 11,914.05 अंक पर बंद हुआ। निफ्टी में शामिल 50 कंपनियों में से 26 हरे निशान में जबकि 24 लाल निशान में बंद हुये।
बीएसई में कुल 2,688 कंपनियों में कारोबार हुआ जिसमें 919 बढ़त लेकर और 1,615 गिरावट में बंद हुये जबकि 154 में कोई बदलाव नहीं हुआ।