नई दिल्ली: सरकार उन कंपनियों से जुड़े विभिन्न आंकड़ो की जानकारी जुटा रही है जिनका हाल में पंजीकरण रद्द किया गया। कॉरपोरेट मामलों के राज्यमंत्री पी पी चौधरी ने यह जानकारी देते हुये कहा कि ऐसी करीब 50,000 इकाइयों के बैंक लेनदेन ब्योरे जुटाये गये हैं। कालेधन के खिलाफ कारवाई के चलते सरकार ने 2.24 लाख से अधिक कंपनियों का पंजीकरण रद्द कर दिया था।
इसके साथ ही करीब तीन लाख निदेशकों पर इस तरह की कंपनियों में निदेशक बने रहने से रोक लगा दी गई। चौधरी ने कहा कि बैंकों से जुटाए गए ब्योरे के अनुसार पंजीकरण रद्द वाली करीब 50,000 कंपनियों ने नोटबंदी के दौरान 17,000 करोड़ रुपये की राशि जमा की और निकाली। भारतीय लागत लेखा संस्थान द्वारा आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए चौधरी ने कहा कि इन कंपनियों के बारे में ब्योरा जुटाया जा रहा है।