पटना : बिहार कांग्रेस विधानमंडल दल के नेता सदानंद सिंह ने कहा कि भाजपा दलितों की हितैषी नहीं है। रिव्यू पीटीशन में भी मोदी सरकार को एससी-एसटी मुद्दे पर स्टे नहीं मिला है। दलितों की सच्ची हितैषी सिर्फ कांग्रेस ही है। यदि अभी केंद्र में कांग्रेस सरकार होती तो संसद का विशेष सत्र बुलाकर इस मुद्दे का समाधान ढूढ़ निकालती।
श्री सिंह ने कहा कि यदि मोदी सरकार के अनुकूल कोर्ट का निर्णय नहीं हुआ था तो केंद्र सरकार को संसद से नया कानून बनाना चाहिए था। जैसी तीन तलाक मुद्दे पर मोदी सरकार ने सक्रियता दिखाई, उसकी वैसी दिलचस्पी दलितों के हित में नजर नहीं आ रही है।
जबकि कांग्रेस की राजीव गांधी सरकार ने 1989 में तत्परता के साथ जो एससी-एसटी के हित में कानून बनायीं थीय उससे धारदार और कोई कानून हो ही नहीं सकती। श्री सिंह ने कहा कि भाजपा सरकार के द्वारा सुप्रीम कोर्ट में कमजोर पक्ष रखने की वजह से ही दलित समाज आज आन्दोलन पर उतारू हुए हैं।
दलित समाज के हितों के साथ कांग्रेस हमेशा से खड़ी रही है। लेकिन इस आन्दोलन को हिंसक नहीं होना चाहिए। हिंसक आन्दोलन से जान.माल की क्षति और सार्वजनिक संपत्ति का नुकसान होता है। जिसे सभ्य समाज में कदापि स्वीकार नहीं किया जा सकता है। कांग्रेस हमेशा से शांतिपूर्ण आन्दोलन की समर्थक रही है। कांग्रेस किसी भी प्रकार की हिंसा की निंदा करती है। हम दलित भाईयों से अपील करते हैं कि वे अपने हक की लड़ाई शांतिपूर्ण ढंग से लड़े।
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