श्योपुर:बोर खनन की अनुमति के लिए निर्धारित की गई समय-सीमा के चलते आज कलेक्ट्रेट कार्यालय में अनुमति लेने वालों की भारी भीड लग गई। उधर घंटों से लाइन में लगे किसानों ने यह कहते हुए हंगामा शुरू कर दिया कि अनुमति देने में प्रशासन भेदभाव बरत रहा है। प्रभावशाली लोगों को जहां तत्काल अनुमति दी जा रही है,वहीं आम किसानों के आवेदन जमा किए जा रहे हैं। हंगामा बढ़ता देख कलेक्टर पन्नालाल सोलंकी को पुलिस बुलानी पड़ी। कोतवाली पुलिस ने मौके पर पहुंचकर किसानों को शांत कराया। दो दिन की छुट्टी के बाद आज जैसे ही कलेक्ट्रेट खुला,वैसे ही बोर खनन की अनुमति लेने वाले किसानों की भारी भीड लग गई।
आलम यह था कि सुबह से ही किसान लाइन में लग गए। लाइन इतनी लंबी थी कि ऐसा लग रहा था मानो किसान अपनी किसी समस्या के लिए लिखित शिकायत लेकर आए हैं। दोपहर 2 बजे तक कलेक्ट्रेट कार्यालय में चार सैकडा से अधिक किसान अनुमति के लिए जमा हो गए। एसडीएम आरबी सिंडोसकर ने किसानों का लाइन में लगवाया और फिर उनसे अनुमति के लिए शपथ-पत्र,आवेदन एकत्रित लेना शुरू कराए।
इस बीच किसानों ने हंंगामा कर दिया। किसानों का आरोप था कि जो लोग सिफारिश लेकर आ रहे हैं या फिर रसूखदार है,उन्हें अनुमति तुंरत प्रदान की जा रही है। जबकि आम किसान के आवेदनों को जमा किया जाकर बाद में अनुमति दिए जाने के लिए कहा जा रहा है। यह सौतेला व्यवहार ठीक नहीं है।
इस दौरान किसानों ने शासन-प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। हंगामे के कारण एसडीएम ने आवेदन जमा करने की प्रकिया रोक दी। कलेक्टर पन्नालाल सोलंकी तक जैसे ही हंगामे की जानकारी पहुंची,उन्होंने तुरंत एसपी को सूचना दी। कुछ ही देर में कलेक्टे्रट कार्यालय में कोतवाली टीआई सुनील खेमरिया के नेतृत्व में भारी फोर्स पहुंच गया। पुलिसकर्मियों ने किसानों को समझाईश के बाद ऐसे-तैसे शांंत कराया। विधायक सहित नेता भी पहुंचे
सोमवार को बोर खनन के लिए किसानों का कलेक्ट्रेट कार्यालय में हुजूम उमड़ा तो विधायक दुर्गालाल विजय समेत भाजपा व कांगे्रेस के अन्य नेता भी कलेक्ट्रेट पहुंच गए। कलेक्ट्रेट कार्यालय में हंगामे केसमय विधायकके अलावा जिला कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष बृजराज सिंह चौहान,भाजपा जिलाध्यक्ष अशोक गर्ग,कांग्रेस नेता गिरिराज सिंह चौधरी आदि आदि मौजूद थे। चर्चा है कि विधायक सहित अन्य नेता अपने-अपने समर्थकों को अनुमति दिलाने की फिराक में नजर आ रहे थे।