बंबई उच्च न्यायालय ने केंद्रीय सूचना आयोग के एक फैसले को चुनौती देने वाली भारतीय रिजर्व बैंक की याचिका पर बृहस्पतिवार को केंद्र से जवाब देने को कहा।
केंद्रीय सूचना आयोग (सीआईसी) ने चार जुलाई को आरबीआई को जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाने वालों के नाम सार्वजनिक करने को कहा था। इसके अलावा केंद्रीय बैंक को पूर्व आरबीआई गवर्नर रघुराम राजन द्वारा फंसे कर्ज को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लिखे पत्र को भी सार्वजनिक करने को कहा है।
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उच्च न्यायालय ने जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाने वालों के नाम सार्वजनिक करने के सीआईसी के फैसले पर सरकार का रुख जानना चाहा है।
दिल्ली के निवासी अजय गुप्ता की याचिका पर सुनवाई करते हुए सीआईसी ने आरबीआई को चार सप्ताह के भीतर सूचना उपलब्ध कराने को कहा था।
ऐसा नहीं होने पर सीआईसी ने इस महीने आरबीआई गवर्नर उर्जित पटेल को जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाने वालों के नाम सार्वजनिक करने के उच्चतम न्यायालय के फैसले का ‘सम्मान नहीं करने को लेकर’ कारण बताओ नोटिस जारी किया था।
इसके बाद 18 नवंबर को सीआईसी ने एक बार फिर आरबीआई को सूची और फंसे कर्ज को लेकर राजन द्वारा लिखे गए पत्र को सार्वजनिक करने का निर्देश दिया।
केंद्रीय बैंक ने इस सप्ताह बंबई उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर सीआईसी के चार जुलाई के फैसले और पटेल को जारी कारण बताओ नोटिस को चुनौती दी।