बिहार के सूपत और देश के प्रथम राष्ट्रपति डा.राजेन्द्र प्रसाद जब गुजरात गये थे तब सोमनाथ मंदिर में पूजा अर्चना की थी। तब छद्म धर्मनिरपेक्षता का प्रवर्तक और आजादी के बाद देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू ने नाराजगी जाहिर की थी। ये बातें आज भाजपा के उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा के कद्दावर नेता सुशील कुमार मोदी ने अपने ट्वीट में कही। उसी विचारधारा के तहत राहुल गांधी और कांग्रेस के नेता कपिल सिब्बल भी सुप्रीम कोर्ट में राम मंदिर के खिलाफ पैरवी कर रहे हैं। मगर देश की जनता सब देख रही है।
जब यही कांग्रेस पार्टी ने देश के पहले राष्ट्रपति डा. राजेन्द्र प्रसाद को नहीं छोड़ा तो किसे छोड़ेगा। श्री मोदी ने कहा कि तिलक और जनेऊ और मंदिर पर्यटन के जरिये राहुल गांधी अपना मंदिर के विरोधी चेहरा को छिपा रहे हैं। उन्होंने लालू प्रसाद पर हमला करते हुए कहा कि श्री प्रसाद तांत्रिक से पूछकर गजरात के बारे में भविष्यवाणी कर रहे हैं उनके बताये तंत्र-मंत्र उनकी पार्टी को सत्ता नहीं बचा पाये और न ही जांच एजेंसी से बच पायेंगे।
उन्हें तो यूपी सहित पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव के समय की गयी भविष्यवाणियों के लिए देश की जनता से माफी मांगना चाहिए। उन्होंने उस समय कहा था कि उतर प्रदेश में भाजपा का शासन नहीं आयेगा, लेकिन शासन ऐसा आया कि दूसरे पार्टी में बेरिया-बिस्तर लेकर भागना पड़ा। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार ने श्रम आधारित उद्योग के पूरे क्षेत्र की सलाना प्रोत्साहन राशि 34 प्रतिशत वृद्धि करके इसे 8450 करोड़ रुपया कर दिया।
जैसे योजना हस्तशिल्प, कालीन, कृषि, इलेक्ट्रोनिक कल पुर्जेबनाने में लगे उपक्रमों को फायदा होगा। इससे यह होगा कि अब छोटे -छोटे कुटीर उद्योग को भी रोजगार मिलेगा और नौजवानों को भी रोजगार मिलेगा। इससे ज्यादा कृषि और इलेक्ट्रोनिक कल पुर्जों से बिहार को ज्यादा लाभ मिलेगा। इस पहल से बिहार झारखंड बॉडर के बुनकरों को जुट उद्योग से जुड़े कारिगरों को आमदनी बढ़ेगी। गुजरात चुनाव में राहुल गांधी का जनेऊ और कपिल सिब्बल को राम मंदिर का पैरवी करना महंगा पड़ेगा। क्योंकि देश कीजनता कांग्रेस की तिरिया चरित्र को देख रही है।
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