भारत ने हाल ही में आयरलैंड को उसके घर में जाकर हराया. इस सीरीज में भारतीय टीम का नेतृत्व कर रहे हार्दिक पांड्या ने अपनी टीम को बखुबी संभाला. वहीं नए खिलाड़ीयों ने भी मैदान पर अपनी टीम के लिए प्रदर्शन में कोई कमी नहीं की.
हार्दिक खुद पहली बार कप्तान के तौर पर मैदान पर उतरे थे. भारत जब 2-0 से सीरीज जीती, तब हार्दिक ने टीम के परंपरा को बरकरार रखते हुए जीत की ट्रॉफी टीम के सबसे नए खिलाड़ी उमरान मलिक को सौंप दी.
आपको बता दें कि भारतीय टीम का ये पुराना कल्चर है कि जब भी टीम कोई सीरीज जीतती है तब टीम के कप्तान ट्रॉफी उस खिलाड़ी को सौंप देते है, जो उस टीम में सबसे नया होता है. भारतीय क्रिकेट में इस परंपरा की शुरुआत महेंद्र सिंह धोनी ने की थी.
जैसा की आपको पता है कि भारत के पूर्व कप्तान धोनी ना सिर्फ भारत के बल्कि दुनिया के सबसे सफल कप्तान में से एक रह चुके हैं, तो उन्होंने हमेशा यहीं किया. टीम के लिए जब भी सीरीज या टुर्नामेंट जीते, ट्रॉफी लेकर टीम के सबसे नए खिलाड़ी को दे दिया करते थे.
एक इंटरव्यू के दौरान जब महेंद्र सिंह धोनी से इस बारे में पूछा गया कि आप ऐसा क्यों करते हैं तब उन्होंने बताया था उनको इस चीज से खुशी मिलती हैं.हालांकि ये हम मान सकते हैं क्योंकि ऐसा करने से नए खिलाड़ी कम्फर्ट जोन में रहते हैं और इस चीज से वो प्रेरित महसूस करते हैं.
हालांकि आयरलैंड के खिलाफ सीरीज में उमरान थोड़े महंगे साबित हुए थे, लेकिन हार्दिक ने मैच और सीरीज जीतने के बाद उनकी तारीफ भी की. उन्होंने कहा कि मैंने उमरान का समर्थन किया. उसके पास गति है. ऐसी तेजी के सामने 18 रन बनाना हमेशा मुश्किल होता है. हार्दिक के इस कारनामें से भारतीय टीम की परंपरा भी बरकरार रही औऱ उन्होंने देश का दिल भी जीत लिया.