नई दिल्ली : दिल्ली हाईकोर्ट में चुनाव आयोग ने हलफनामा दायर कर कहा कि 2017 में गोवा विधानसभा चुनावों के दौरान अरविंद केजरीवाल की कथित रिश्वत संबंधी टिप्पणी के लिए उनकी आप पार्टी की मान्यता रद्द करने सहित कोई भी कार्रवाई करने से पहले उन्हें नोटिस भेजा जाएगा। जस्टिस योगेश खन्ना ने स्पष्ट किया कि नोटिस भेजने का मामला सिर्फ वर्ष 2017 के गोवा विधानसभा चुनाव के दौरान दिए भाषण पर लागू होगा, अन्य बयानों पर नहीं।
इसके साथ ही बेंच ने अरविंद केजरीवाल की उस याचिका को निपटा दिया, जिसमें उन्होंने चुनाव आयोग के 21 जनवरी 2017 के चेतावनी देने संबंधी आदेश को चुनौती दी थी। चुनाव आयोग ने रिश्वत की टिप्पणी को आचार संहित का उल्लंघन माना था और 21 जनवरी, 2017 को चेतावनी देते हुए कहा था कि अगर वे भविष्य में फिर से इस तरह की टिप्पणी करेंगे तो उनके व उनके पार्टी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
उसने अरविंद केजरीवाल के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए थे। आयोग के इस आदेश को पार्टी के संयोजक ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। और कहा था कि यह संविधान के तहत दिए गए अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के अधिकार का उल्लंघन है। आयोग की चेतावनी को निरस्त किया जाए।