एक गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) ने आलोक वर्मा को जबरन छुट्टी पर भेजने और एम. नागेश्वर राव को सीबीआई का अंतरिम निदेशक बनाने के फैसले के खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय का रुख किया है।
प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायाधीश संजय कृष्ण और के.एम.जोसेफ की पीठ ने कहा, ‘हम मामले को देखेंगे क्योंकि वकील प्रशात भूषण इस पर त्वरित सुनवाई चाह रहे हैं।’
आलोक वर्मा को जबरन छुट्टी पर भेजने के केंद्र सरकार के फैसले को चुनौती देते हुए एनजीओ ‘कॉमन कॉज’ ने सीबीआई से विशेष निदेशक राकेश अस्थाना को हटाए जाने की मांग की थी। भूषण ने संवाददाताओं से कहा कि उन्होंने भ्रष्टाचार के आरोपों का सामना करने वाले सीबीआई अधिकारियों की एसआईटी जांच की मांग की है।