नई दिल्ली : गत वर्ष 2018 में इग्नू के एमसीए और बीसीए के दो पेपर लीक मामले में क्राइम ब्रांच ने इग्नू में कांट्रेक्ट बेस पर कार्यरत सहायक और उसके चार साथियों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने गिरफ्तार आरोपियों की पहचान देव शंकर, विवेक कुमार शर्मा, अंकित सक्सेना, मो. इकबाल और जॉनसन हंस के रूप में की है। आरोपी देव पेपर लीक कांड का मास्टरमाइंड है।
वह 2017 में भी पेपर लीक कर चुका है। पेपर की फोटो खींचने के बाद व्हाॅट्सएप के जरिए अपने साथियों भेज देता था। प्रत्येक छात्र से लीक पेपर के बदले 1500 रुपए लिए जाते थे। देव झारखंड में बोकारो स्टील सिटी स्थित इग्नू के स्टडी सेंटर में सहायक का काम करता था। एडिशनल डीसीपी क्राइम ब्रांच डॉ. एके सिंघला ने बताया कि मैदान गढ़ी स्थित इग्नू के रजिस्ट्रार एसजी स्वामी ने गत पांच और आठ दिसंबर 2018 और एमसीए के तीसरे सेमेस्टर और बीसीए तीसरे सेमेस्टर पेपर लीक होने की शिकायत की थी।
इस संबंध में नेब सराय और डाबरी थाने में मुकदमा दर्ज किया गया। जांच का जिम्मा डीसीपी भीषम सिंह के नेतृत्व में एसीपी आरके ओझा की टीम को सौंपा गया। पुलिस टीम में शामिल इंस्पेक्टर रिछपाल, एसआई संजय, हंसराज, एएसआई सतेंद्र आदि ने करीब 500 संदिग्धों को से पूछताछ की। उनके फोन का डाटा खंगाला।
अतंत में टेक्निकल तरीके से काम करते हुए पुलिस ने देव को झारखंड से दबोच लिया। पूछताछ में उसने एक दिन पूर्व पेपर लीक करने की बात कबूल ली है। उसने बताया कि स्टडी सेंटर में सारा स्टॉफ उस पर बहुत भरोसा करता था। वह 13 सालों से यहां कार्यरत था।