हल्द्वानी : नेता प्रतिपक्ष डाॅ. इंदिरा हृदयेश ने कहा है कि पेट्रोल-डीजल के दाम लगातार बढ़ने से महंगाई चरम पर है। रसोई गैस की कीमतें भी लगातार बढ़ रही हैं। पेट्रोल-डीजल पर भारी भरकम टैक्स लगा है। पिछले 52 महीने में मोदी सरकार टैक्स के माध्यम से 11 लाख करोड़ से भी ज्यादा मुनाफा कमा चुकी है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल-डीजल की कीमतें आजादी के बाद से सबसे ऊंचे पायदान पर हैं। आम, मध्यम वर्ग, किसान, ट्रांसपोर्टर, छोटे व मध्यम व्यवसायी महंगाई के बोझ तले दबकर पीड़ा से कराहने को मजबूर है।
16 मई 2014 में अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत 107.09 डाॅलर प्रति बैरल थी, जबकि आज कच्चे तेल की कीमत 73 डाॅलर प्रति बैरल है। इस प्रकार कांग्रेस की यूपीए सरकार के समय से कच्चे तेल की कीमत 40 प्रतिशत कम है, फिर भी वर्तमान सरकार के समय पेट्रोल-डीजल की कीमत सबसे ज्यादा है। इसका कारण सरकार का बेरहमी से टैक्स लगाना है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा है कि सरकार पड़ोसी देशों को पेट्रोल 34 रूपये प्रति लीटर व डीजल 37 रूपये प्रति लीटर की दर से बेच रही है।
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इस प्रकार पड़ोसी देशों में डीजल-पेट्रोल के दाम कम हैं। उन्होंने कहा है कि भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने निर्णय लिया है कि अन्य विपक्षी दलों के साथ मिलकर दस सितम्बर को भारत बंद किया जाए। उन्होंने मीडिया के माध्यम से जनता व व्यापारियों से अपील की है कि सरकार पर दबाव बनाने के लिए समस्त व्यापारिक प्रतिष्ठान पूरी तरह बंद रखकर भारत बंद को सफल बनाने में सहयोग प्रदान करें।
जनता ईधन की लूट के लिए सरकार को माफ नहीं करेगी : वर्तमान सरकार के सत्ता में आने के बाद से केंद्रीय एक्साइज ड्यूटी में 12 बार वृद्धि की गई है। दैनिक जरूरतों की वस्तुओं के बढ़ते हुए मूल्यों ने सभी देशवासियों का बजट पूरी तरह बिगाड़ दिया है। देश की जनता इस ईधन की लूट के लिए सरकार को माफ नहीं करेगी। उन्होंने मांग की है कि डीजल-पेट्रोल पर लगाये जाने वाले टैक्स को कम करके जनता को राहत दी जाये। साथ ही पेट्रोल-डीजल की कीमतें जीएसटी के अंदर लाई जायें, जिससे आम जनता को 10 से 15 रुपये प्रति लीटर की राहत मिल सके।
– संजय तलवाड़