दक्षिण पूर्वी दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित तबलीगी जमात के मरकज में शामिल होने वाले 9 लोगों की कोरोना वायरस संक्रमण (कोविड-19) से मौत हो गई जबकि 24 लोग संक्रमित पाये गए। वहीं इस बीच इस केंद्रीय गृह मंत्रालय ने मरकज में शामिल होने वाले विदेशियों के वीजा में गड़बड़ी पायी है।
GoI द्वारा जारी भारतीय वीजा के नीति निर्देशों के अनुसार, किसी भी धार्मिक विचारधाराओं का प्रचार करना, धार्मिक स्थानों में भाषण देना, धार्मिक विचारधाराओं से संबंधित ऑडियो-विज़ुअल डिस्प्ले या पर्चे का वितरण की अनुमति नहीं होती। भाग लेने वाले सभी विदेशियों को वर्जित किया जा सकता है।
मरकज में शामिल हुए 300 ये विदेशी नागरिक मलेशिया और थाईलैंड सहित 16 देशों से आए थे। केंद्रीय गृह मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक, ये विदेशी उन 8000 लोगों में शामिल थे जो निजामुद्दीन में तब्लीगी जमात के मरकज में पिछले दिनों मौजूद थे।
गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा, ”जो लोग पर्यटक वीजा पर आए और निजामुद्दीन के कार्यक्रम में शामिल हुए वह प्रतिबंधित सूची में डाले जा सकते हैं क्योंकि उन्होंने वीजा शर्तों का उल्लंघन किया है।” अगर किसी विदेशी का नाम नागरिक गृह मंत्रालय की प्रतिबंधित सूची में डाल दिया जाता है तो वह भविष्य में भारत की यात्रा नहीं कर सकता।
तबलीगी जमात के मरकज में आए 24 लोगों में कोरोना की पुष्टि, 1500 से 1700 लोग हुए थे शामिल
बता दें कि मरकज में शामिल हुए नौ लोगों की कोरोना से देश के अलग-अलग हिस्सों में मौत हो गई जबकि 24 लोग संक्रमित पाये गए। यहां से निकाले गए 334 लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है जबकि सात सौ लोगों को आइसोलेशन में भेजा गया है। मरकज से जुड़ छह लोग तेलंगाना, एक तमिलनाडु, एक जम्मू-कश्मीर तथा एक की दिल्ली में मौत हुई है।
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सतेंद्र जैन ने कहा कि जमात ने लॉकडाउन के दौरान नियमों को तोड़कर घोर अपराध किया है। उन्होंने उपराज्यपाल से मरकज के प्रमुख के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि मरकज के 24 लोग कोरोना संक्रमित पाए गए जबकि इस बीमारी के लक्षण वाले 334 लोगों को अलग- अलग अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। करीब 1500 से 1700 लोग मरकज में आये थे जबकि 1033 लोगों को यहां से निकाला गया है।