निर्भया सामूहिक दुष्कर्म और हत्या मामले के दोषी मुकेश सिंह अपनी उस याचिका को खारिज किए जाने के हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ बृहस्पतिवार को सुप्रीम कोर्ट का रुख किया। जिसमें उसने 16 दिसंबर, 2012 को अपराध के समय राष्ट्रीय राजधानी में नहीं होने का दावा किया है। उच्च न्यायालय ने बुधवार को कहा था कि निचली अदालत के विस्तृत और तर्कसंगत आदेश में दखल देने का कोई आधार नहीं है।
निचली अदालत ने मंगलवार को मुकेश की याचिका खारिज कर दी थी और ‘बार काउंसिल ऑफ इंडिया’ को उसके वकील को उपयुक्त परामर्श देने को भी कहा था। यह मामला 16 दिसंबर 2012 को दक्षिणी दिल्ली में एक चलती बस में 23 वर्षीय फिजियोथेरेपी इंटर्न के साथ सामूहिक दुष्कर्म और हमले से जुड़ा है। बाद में सिंगापुर के एक अस्पताल में इलाज के दौरान पीड़िता की मौत हो गई थी।
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उल्लेखनीय है कि निचली अदालत ने पांच मार्च को मामले के चार दोषियों - मुकेश सिंह (32), पवन गुप्ता (25), विनय शर्मा (26) और अक्षय कुमार सिंह (31) को 20 मार्च की सुबह साढ़े पांच बजे फांसी देने के लिए मृत्यु वारंट जारी किया था।