किसानों के आंदोलन के समर्थन को लेकर तैयार किए गए ‘टूलकिट गूगल डॉक्यूमेंट’ सोशल मीडिया पर कथित तौर पर साझा करने के मामले में दिशा रवि के साथ सह आरोपी शांतनु मुलुक ने, अग्रिम जमानत के लिए मंगलवार को दिल्ली की एक अदालत का दरवाजा खटखटाया। मुलुक द्वारा दिए गए आवेदन पर बुधवार को अतिरिक्त सत्र जज धर्मेन्द्र राणा की अदालत में सुनवाई होने की संभावना है। बंबई हाई कोर्ट ने मुलुक को 16 फरवरी को दस दिन के लिए ट्रांजिट जमानत दे दी थी।
मुलुक, दिशा रवि और एक अन्य आरोपी निकिता जैकब पर राजद्रोह तथा अन्य आरोपों के तहत मामला दर्ज किया गया है। दिशा रवि को दिल्ली पुलिस का साइबर प्रकोष्ठ दल बेंगलुरु से गिरफ्तार कर दिल्ली लाया था। रवि की पुलिस हिरासत अवधि आज समाप्त हो रही है।मुलुक और जैकब फिलहाल ट्रांजिटट जमानत पर हैं। मुलुक और जैकब सोमवार को टूलकिट मामले की जांच में शामिल हुए थे।
द्वारका में दिल्ली पुलिस के साइबर प्रकोष्ठ के कार्यालय में उनसे पूछताछ की गयी। पुलिस ने आरोप लगाया था कि कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के आंदोलन के नाम पर भारत में हिंसा और अशांति फैलाने की साजिश के तहत यह टूलकिट तैयार की गयी। केंद्र सरकार के तीनों नए कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर पंजाब, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश से किसान दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं।