साल 2012 में राजधानी दिल्ली में हुए बर्बर निर्भया गैंगरेप और हत्या ने पूरे देश को झकझोर दिया था। इस मामले के चारों आरोपियों को 1 फरवरी को फांसी पर लटकाया जाना है। फांसी देने से पहले तिहाड़ जेल प्रशासन ने आरोपियों को नोटिस जारी करके उनकी अंतिम इच्छा के बारे में पूछा है।
हालांकि चारों आरोपियों में से किसी ने भी अपनी अंतिम इच्छा को लेकर कोई खुलासा नहीं किया है। फांसी पर लटकाया से पहले नियम के अनुसार जिन्हें फांसी की सजा दी जाता है, उनकी अंतिम इच्छा के बारे में पूछा जाता है। जेल प्रशासन ने चारों दोषियों मुकेश सिंह, विनय सिंह, अक्षय सिंह और पवन गुप्ता से उनकी अंतिम इच्छा के बारे में पूछा लेकिन चारों में से किसी ने कोई जवाब नहीं दिया है।
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जेल प्रशासन ने आरोपियों से पूछा कि 1 फरवरी को तय उनकी फांसी से पहले वह किसी से आखरी बाद मिलना चाहते हैं? उनके नाम कोई संपत्ति है तो क्या वह उसे किसी के नाम ट्रांसफर करना चाहते हैं, कोई धार्मिक किताब पढ़ना चाहते हैं या किसी धर्मगुरु को बुलाना चाहते हैं? अगर वह चाहें तो इन सभी को 1 फरवरी को फांसी देने से पहले पूरा कर सकते हैं।