India Safest City: हाल ही में नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) ने देश में अपराधों के मामले में सबसे सुरक्षित राज्य कौन सा है इसपर अपनी रिपोर्ट जारी की है। रिपोर्ट के मुताबिक ममता दीदी का राज्य कोलकाता लगातार तीसरी बार भारत का सबसे सुरक्षित राज्य बन गया है। कोलकाता के बाद पुणे और हैदराबाद को देश का सबसे सुरक्षित राज्य माना गया है। कोलकाता में जनसँख्या में हो रही बढ़ोतरी को देखते हुए अपराधों में आई कमी सभी को हैरत में डालती है। भारत में हर साल नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो देश के सभी राज्यों में से कौन सा राज्य सबसे ज्यादा सुरक्षित है और किस राज्य में क्राइम रेट सबसे ज्यादा है? जिसमें लगातार 3 बार से आगे चल रहे कोलकाता ने एक बार फिर बाजी मार ली है। Crime in india 2022 नाम से निकाली गई इस रिपोर्ट में देश के सभी 36 राज्यों और यूनियन टैरिटरी से डेटा इकट्ठा किया गया, इस डेटा के द्वारा यह पता लगाया गया कि प्रति लाख आबादी पर कितने परसेंट अपराध दर्ज हो रहे हैं। India Safest City रिपोर्ट में सामने आया कि सभी राज्यों के मुकाबले कोलकाता में हर एक लाख पर 100 से भी कम क्राइम दर्ज हुए हैं। लेकिन ये अपराध कोई छोटे नहीं थे, ये वे क्राइम थे जिन्हें बहुत गंभीर माना जाता है। इन क्राइम्स में पुलिस अपराधी को बिना वारंट ही गिरफ्तार कर सकती है और बिना देर किए क्राइम पर एक्शन ले सकती है।
रिपोर्ट के अनुसार कोलकाता पहला तो मुंबई और दिल्ली इस रेस से बाहर एवं सबसे पीछे नज़र आए। रिपोर्ट बताती है कि दिल्ली ने महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों के मामले में पहला नंबर हासिल किया है। कोलकाता ने सबसे कम अपराध करने वाला राज्य बनने में साल 2020, 2021 और 2022 में लगातार नंबर वन पर आकर हैटट्रिक मार दी है। एनसीआरबी की अभी जारी हुई 2022 की रिपोर्ट में सामने आया कि 20 लाख वाले लोगों के शहर में प्रति लाख लोगों पर सबसे कम 86.5% अपराध कोलकाता में दर्ज हुए। इसके अलावा पुणे जो कोलकाता के बाद आता है उसमें 280, और हैदराबाद में 299 अपराध दर्ज हुए हैं। लगातार तीसरी बार पहले नंबर पर आने वाला राज्य कोलकाता ने 2021 में अपने ही बनाए रिकॉर्ड को तोड़ा है। दरअसल साल 2021 में 1 लाख पर 103.5 86.5 अपराध सामने आए थे जो 2022 से ज्यादा हैं यानिकि साल 2022 में 16% अपराध कम हुए हैं।
बड़े-बड़े राज्यों को मात देकर लगातार तीसरी बार सबसे कम क्राइम करने में कोलकाता NCRB के द्वारा सबसे सुरक्षित राज्य बनाया गया है। इसके पीछे की कुछ वजह हैं जिनके बारे में हम आपको बताने जा रहे हैं आइए इनके बारे में जानते हैं।
कोलकाता में पुलिस स्टेशन पर्याप्त मात्रा में मौजूद हैं। यहाँ टोटल 83 पुलिस स्टेशन मौजूद हैं इनमें 9 महिला पुलिस स्टेशन हैं। कोलकाता में पुलिस ने साइबर क्राइम पर भी अपना पंजा कसा हुआ है यहाँ स्पेशल में दो पुलिस स्टेशन साइबर क्राइम को कंट्रोल करने के लिए बने हुए हैं। कोलकाता में अपराध कम होने के पीछे एक कारण वहां की आधुनिक और पांरपरिक जीवनशैली को भी माना जाता है। वहां की पुलिस क्राइम्स को लेकर बहुत सतर्क रहती है और कुछ भी अपराध होने पर तुरंत कार्यवाही करती है। ऑर्गेनाइज्ड क्राइम कम होने से यहां अन्य क्राइम्स भी कम होते हैं।
कोलकाता को एक विकसित राज्य के रूप में जाना जाता है, दरअसल कोलकाता अंग्रेजों के समय से ही एक विकसित राज्य माना जाता है। कोलकाता में पहले से ही बड़ी और चौड़ी सड़कें, स्कूल, मेडिकल और हॉस्पिटल मौजूद हैं। इसके अलावा अंग्रेजों ने भारत में सबसे ज्यादा महत्व कोलकाता को ही दिया, जिससे लोग आकर्षित हुए और अच्छे-खासे पढ़े लिखे लोग यहाँ बसने लगे, जिसका असर आज भी यहाँ देखने को मिलता है और लोग अपराध करने से बचते हैं।
कोलकाता में बहुत बड़े स्तर पर व्यापार होता है। कोलकाता में लंबे समय से तटीय इलाकों में मसालों, कपड़ों का आयात- निर्यात अन्य कई देशों से होता रहा है। चूंकि यह एक बड़ा व्यापारिक केंद्र भी है इसलिए पुलिस और अन्य बड़े अधिकारी यहाँ की सुरक्षा में कोई भी चूक करने से बचते हैं। यह भी क्राइम रेट में कमी आने का एक बड़ा कारण है। यहाँ लगातार जनसँख्या बढ़ने का एक कारण व्यापार में वृद्धि होना भी है। न सिर्फ आस-पास के क्षेत्रों से बल्कि देश के कई अलग- अलग राज्यों से कोलकाता में लोग काम करने के लिए आते हैं।
कोलकाता एक ऐसा राज्य है जिसमें अन्य बड़े शहरों के मुताबिक सबसे कम ख़र्च करने की जरुरत पड़ती है। यहाँ रहने के लिए आपको अधिक मात्रा में खर्चा नहीं करना पड़ेगा। एक इस वजह से भी यहाँ की जनसँख्या में बढ़ोतरी हो रही है जिसको देखते हुए पुलिस अलर्ट पर रहती है जिसका सीधा असर क्राइम रेट कम होने पर पड़ता है।
दिल्ली भारत की राजधानी है लेकिन NCRB की रिपोर्ट के अनुसार दिल्ली क्राइम्स के मामले में काफी आगे है। यहाँ 2022 में अपराध के 14,247 मामले दर्ज किए गए। जो देश की औसत दर 66.4 से काफी अधिक हैं। दिल्ली में चोरी, रेप और कई तरह के अपराधों में बढ़ोतरी हुई है। दिल्ली में साल 2022 में 1100 से कहीं ज्यादा रेप के मामले दर्ज हुए थे जो साल 2021 के मुकाबले कहीं ज्यादा बताये गए। इसके अलावा महिलाओं के साथ छेड़छाड़ और मारपीट के 1,480 मामले दर्ज 15 जुलाई 2022 तक दर्ज किये गए जो भी पिछले साल के मुताबिक ज्यादा थे। दिल्ली में यदि क्राइम को लेकर कानून अधिक सख्त नहीं होता है तो नतीजे भयंकर होंगे।
दिल्ली के बाद मुंबई जो NCB की रिपोर्ट के अनुसार क्राइम रेट में दिल्ली से भी नीचे है। मुंबई को एक बड़ा शहर और महिलाओं के लिए सबसे सुरक्षित शहर माना जाता है। हालाँकि मुंबई की लगातार गिरती रैंक ने इसकी सबसे सेफ सिटी होने की उपाधि छीन ली है। मुंबई सभी 60 शहरों में से 50वें नंबर है। मुंबई में हत्या, रेप, चोरी और घेरलू हिंसा के अपराधों की संख्या बढ़ी है।
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