रोहतक: सांसद दीपेन्द्र सिंह हुड्डा ने कहा कि पांच हजार करोड रूपए के खदान घोटाले ने यह साबित कर दिया है साढे तीन साल के शासनकाल के दौरान भाजपा सरकार ने घोटाले करने में कीर्तिमान स्थापित किया है। उन्होंने कहा कि इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने भी मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर पर टिप्पणी की है। सांसद ने कहा कि सरकार को इस मामले में जबाव देना चाहिए कि आखिर मुख्यमंत्री कार्यालय ने किन शक्तियों के तहत खदान का टेंडर जारी किया था। साथ ही उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व पूर्व सीएम भूपेन्द्र सिंह हुड्डा की मुलाकात को लेकर भी प्रतिक्रिया दी। सांसद ने कहा कि यह मुलाकात एक शिष्टाचार के नाते थी और इस मुलाकात का दूसरा मतलब निकालने वाले लोग भी जबाव दे।
वीरवार को सांसद दीपेन्द्र सिंह हुड्डा ने कलानौर में आयोजित गुज्र्जर सम्मेलन में शिरक्त की। बाद में पत्रकारों से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि किसान पंचायतों के जरिए जो मुद्दे सामने आए है सरकार उन पर कोई ध्यान नहीं दे रही है, जबकि आज प्रदेश में किसान, मजदूर, कर्मचारी सरकार की नीतियों से परेशान हो चुके है। सांसद ने कहा कि अब वह इस आंदोलन को और तेज करेंगे। दीपेन्द्र हुड्डा ने खदान घोटाले को लेकर कहा कि सीधे सीधे मुख्यमंत्री कार्यालय शामिल है। सुप्रीम कोर्ट ने तो मुख्यमंत्री पर टिप्पणी की है।
इस मामले को लेकर सरकार ने तुंरत सफाई देनी चाहिए कि किन शक्तियों के चलते खदान का टेंडर जारी किया गया और घोटाले में कौन कौन लोग शामिल है। करीब तीन साल के शासनकाल के दौरान एक नहीं बल्कि कई घोटाले सामने आए है, जिनमें गवाल पहाडी, मेट्रो रूट बदलना, धान खरीद, बिजली मीटर खरीद मुख्य है। इस घोटालों की सीबीआई व अन्य स्वतंत्र एजेंसी से जांच होनी चाहिए ताकि प्रदेश की जनता को सच्चाई का पता चल सके। उन्होंने कहा कि ईमानदारी का चोला पहन कर लोगों को गुमराह किया जा रहा है और खदान मामले में तो सरकार ने चुप्पी साध रखी है।
(मनमोहन कथूरिया)