रोहतक की सुनारिया जेल में बलात्कार और दो हत्याओं के मामले में सजा काट रहे राम रहीम को आदमपुर उपचुनाव से पहले 40 दिन की पैरोल मिलने के बाद हरियाणा की भाजपा सरकार पर सवाल उठ रहे हैं। विपक्ष का आरोप है कि आदमपुर उपचुनाव में बीजेपी सरकार ने राम रहीम को उनके समर्थकों का वोट हासिल करने के लिए पैरोल पर जेल से बाहर भेजा है। इस बीच हरियाणा के डिप्टी स्पीकर रणबीर सिंह गंगवा के एक बयान पर विवाद खड़ा हो गया है।
नलवा से बीजेपी विधायक गंगवा ने अपनी चुनावी सफलता का श्रेय राम रहीम को दिया है। उन्होंने कहा कि प्रशासन के विफल होने पर बाबाजी का आशीर्वाद काम करता है। आपको बता दें कि 40 दिन पैरोल पर बाहर आए डेरा प्रमुख के सामने झुकने का उनका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है।
राम रहीम ने कहा कि महापौर अगली बार साहब को ला सकते हैं।
डिप्टी स्पीकर ने दोषी डेरा प्रमुख राम रहीम को ‘डैड’ कहकर संबोधित किया और राम रहीन को उन्हें बेटा कहकर आशीर्वाद दिया। इससे पहले भाजपा के हिसार मेयर गौतम सरदाना की पत्नी भी डेरा प्रमुख का आशीर्वाद लेती हुई नजर आई थीं। उन्होंने कहा, “वह उन्हें देखकर बेहद भाग्यशाली महसूस करती हैं।” राम रहीम ने कहा कि महापौर अगली बार साहब को ला सकते हैं।
वहीं राम रहीम ने जेल से बाहर आते ही एक वीडियो भी शेयर किया, जिसमें उन्हें अपने डेरे के हिसाब से काम करना है, जैसा कि पहले करते थे, अपनी मर्जी से कोई भी काम न करे। इसे राम रहीम द्वारा अपने अनुयायियों को दिए गए संदेश के रूप में देखा गया, जिन्हें डेरा से वोट देने के लिए कहा जाता है।
वहीं बीजेपी के बड़े नेता और मंत्री राम रहीम की पैरोल को लेकर सफाई दे रहे हैं कि हर कैदी को पैरोल लेने का अधिकार है और जेल मंत्री राम रहीम के चुनाव और पैरोल को महज संयोग बता रहे हैं, लेकिन राम रहीम। कांग्रेस ने बीजेपी सरकार पर निशाना साधना शुरू कर दिया है।