सतलोक आश्रम संचालक रामपाल पर चार साल बाद हत्या के केस में हिसार की विशेष अदालत आज फैसला सुनाने वाली है। फैसले को देखते हुए हिसार में कड़ी सुरक्षा के इंतजाम किए गए हैं। रामपाल बाबा की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए कोर्ट की कार्यवाही जेल में वीडियो कांफ्रेंस के जरिये पूरी सुनवाई की गई। मामले में सजा का ऐलान 16 और 17 अक्टूबर को किया जाएगा।
सेंट्रल जेल-1 में बनी विशेष अदालत में एडीजे डीआर चालिया इस मामले में फैसला सुनाएंगे। अशांति की आशंका में हिसार में रेल सेवा बंद कर दी गई है। बताया जाता है कि हरियाणा पुलिस ने रेल अधिकारियों को इस बारे में लिखा था। शहर व आसपास के क्षेत्र में इंटरनेट सेवा भी बंद की जा सकती है। कोर्ट से तीन किमी का सुरक्षा घेरा बनाया गया है।
इस सुरक्षा घेरे में किसी भी बाहरी व्यक्ति के प्रवेश पर पूर्ण रूप से पाबंदी होगी। वहीं शहर में कई जगहों पर रूट डायवर्जन रहेगा। कानून व्यवस्था की स्थिति बनाए रखने और रामपाल के समर्थकों की भीड़ का हिसार शहर में प्रवेश रोकने के लिए 48 पुलिस नाके लगाए गए हैं। प्रशासन को अंदेशा है कि रामपाल की सुनवाई के दौरान 10 से 20 हजार श्रद्धालु कोर्ट परिसर, सेंट्रल जेल, लघु सचिवायल, टाउन पार्क और रेलवे जैसी जगहों पर एकत्रित हो सकते हैं। ऐसे में ये समर्थक किसी तरह की कानून व्यवस्था न बिगाड़ पाए, इसके लिए पहले से ही तैयारियां कर ली गई है।
जमीन धोखाधड़ी मामले में संत रामपाल सहित चार को अदालत ने किया बरी
जिले से 1300 पुलिसकर्मी और बाहरी जिलों से 700 जवानों की ड्यूटी लगाई गई है। इसके अलावा अन्य जिलों के एसपी और डीएसपी की ड्यूटी भी हिसार लगाई गई है। इसके अलावा आरएएफ की पांच कंपनियों को हिसार बुला लिया है। लॉ एंड आर्डर की स्थिति को बनाए रखने के लिए मध्यप्रदेश, राजस्थान, पंजाब और हरियाणा के विभिन्न हिस्सों से हिसार आने वाली ट्रेनों का संचालन नहीं होगा।
गौरतलब है कि लगभग चार साल से जेल में बंद रामपाल पर सोमवार को हुई फाइनल सुनवाई के बाद कोर्ट ने अपना फैसला गुरुवार तक के लिए सुरक्षित रख लिया था। मामला 14 नवंबर 2014 का है, जब हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद एक मामले में रामपाल कोर्ट में पेश नहीं हुआ। इसके बाद हाईकोर्ट ने रामपाल को पेश करने के आदेश दिए और पुलिस प्रशासन ने सतलोक आश्रम से रामपाल को निकालने के लिए ऑपरेशन चलाया। इस दौरान 4 लोगों की मौत हुई थी।