इस साल देश में दक्षिण-पश्चिम मानसून के सामान्य रहने की संभावना है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने बृहस्पतिवार को बताया IMD के अनुसार, बारिश के 1971-2020 की अवधि के 87 सेंटीमीटर दीर्घावधि औसत (LPA) के 96 से 104 प्रतिशत रहने की संभावना है।
सामान्य से अधिक बारिश होने की संभावना
आईएमडी ने कहा, ‘‘ दक्षिण-पश्चिम मानसून के मौसम के लिए 1971-2020 (अवधि) के आधार पर भारत में 868.6 मिलीमीटर वर्षा होने की संभावना है। यह 1961-2010 अवधि की सामान्य वर्षा 880.6 मिलीमीटर की जगह लेगा।’’ प्रायद्वीपीय भारत के उत्तरी भाग, मध्य भारत, हिमालय की तलहटी और उत्तर-पश्चिम भारत के कुछ हिस्सों में सामान्य या सामान्य से अधिक बारिश होने की संभावना है।
कम बारिश होने की संभावना
पूर्वोत्तर भारत के कई हिस्सों, उत्तर-पश्चिम भारत के कुछ हिस्सों और दक्षिणी प्रायद्वीप के दक्षिणी हिस्सों में सामान्य से कम बारिश होने की संभावना है।गत वर्ष 2021 में जून से सितंबर के बीच चार महीने के दक्षिण-पश्चिम मानसून के मौसम के दौरान देश में ‘‘सामान्य’’ वर्षा हुई थी। लगातार तीसरे वर्ष देश में सामान्य या सामान्य से अधिक बारिश दर्ज की गई थी। 2019 और 2020 में बारिश सामान्य से अधिक हुई थी।
14 से 18 अप्रैल के बीच लू से तापमान में बढ़ोतरी हो सकती
बता दें कि देश भर के अलग-अलग राज्यों में भीषण गर्मी पड़ रही है। मौसम विभाग के मुताबिक, 15 से 18 अप्रैल तक पूर्वी राजस्थान और मध्य प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों में लू चलने के आसार हैं। वहीं आज और कल झारखंड में, 15 और 16 तारीख को गुजरात, 16 और 18 तारीख के बीच पश्चिम उत्तर प्रदेश में लू चलने की संभावना है। 14 से 18 अप्रैल के बीच पश्चिम राजस्थान, पंजाब, हरियाणा और दिल्ली में लू से तापमान में बढ़ोतरी हो सकती है।