महाराष्ट्र-छत्तीसगढ़ सीमा के पास जंगलों में पुलिस के साथ मुठभेड़ में कम से कम दो नक्सली मारे गए। एक अधिकारी ने यहां गुरुवार को यह जानकारी दी।
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यह घटना एक गुप्त सूचना के बाद हुई कि नक्सलियों की एक बड़ी टुकड़ी छत्तीसगढ़ में गोडलवाही चौकी से लगभग 10 किमी दूर बोधिनटोला के पास डेरा डाले हुए थी। इंटेल ने कहा कि नक्सली सुरक्षा बलों पर घात लगाकर हमला करने और तोड़फोड़ की गतिविधियों को अंजाम देने और स्थानीय आदिवासियों को पुलिस मुखबिर बताकर मारने की योजना बना रहे थे। सूचना मिलने पर गुरुवार सुबह पुलिस दल इलाके की सर्चिंग के लिए तैनात किए गए थे, तभी नक्सलियों ने उन पर गोलीबारी शुरू कर दी। पुलिस ने भी जवाबी कार्रवाई की और करीब एक घंटे तक गोलीबारी चलती रही।
गोलीबारी रुकने के बाद पुलिस टीमों ने इलाके की तलाशी ली, जिसमें दो माओवादियों के शव और उनके हथियार, एक एके-47 और एक एसएलआर राइफल बरामद हुई। मारे गए नक्सलियों में से एक की पहचान कसानसुर दलम के डिप्टी कमांडर दुर्गेश वट्टी के रूप में की गई है, जो 2019 के घातक जंबुलखेड़ा विस्फोट के मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक था, जिसमें 15 गढ़चिरौली पुलिस अधिकारी मारे गए थे। दूसरे शव की पहचान करने की कोशिश की जा रही है। गढ़चिरौली पुलिस के एक अधिकारी ने कहा, क्षेत्र में तलाशी अभियान जारी है।
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