लुधियाना : पंजाब में पिछले दो सालों में एक के बाद एक हिंदू संगठनों सहित अन्य धार्मिक शखसीयतों को निशाना बनाकर उनकी हत्या करने की वारदातों ने पुलिस व खुफिया एजेंसियों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े किए हुए है।
यहां बताते चले कि इससे पहले भी लुधियाना सहित पंजाब के अलग अलग हिस्सों में हुई हत्याओं में भी अज्ञात हमलावरों ने यही तरीका अपनाया। इससे पहले की सबसे ताजी वारदात लुधियाना में इसाई समुदाय के पास्टर सुल्तान मसीह की भी हत्या उनके निवास स्थान चर्च के बाहर अज्ञात बाइक सवारों ने कर दी थी।
जिसके बाद भी पुलिस ने आज रविंदर गोसाई की हत्या की भांति संगिदध हत्यारों का सीसीटीवी फुटेज जरूर जारी किया था लेकिन अहम बात है कि सभी हत्यारों में जारी हुए सीसीटीवी फुटेज पुलिस को इन वारदातों को साल्व करने में कोई मदद नहीं कर सके है तथा सभी वारदातें आज तक अनसुलझी है। जोकि पंजाब के पिछले खूनी इतिहास को देखते हुए बेहद गंभीर एवं चुनौतीपूर्ण है।
एक नजर पूर्व की वादाताओं पर 16 जून, 2017 : पास्टर सुल्तान मसीह की लुधियाना में पीरू बंदा सलीम टाबरी एरिया में उनके निवास चर्च के बाहर ही हत्या कर दी गई। केस अन्साल्व है। 25 फरवरी, 2017 : डेरा सच्चा सौदा के प्रेमी सतपाल शर्मा (70) व उसके बेटे रमेश (40) की लुधियाना-मालेरकोटला रोड गांव जगेडा नाम चर्चा केंद्र के बाहर हत्या कर दी गई। 14 जनवरी, 2017 : हिंदू तखत के जिला प्रधान अमित शर्मा की श्री दुर्गा माता मंदिर के बाहर हत्या। 6 अगस्त, 2016 : आरएसएस नेता ब्रिगेडियर जगदीश गगनेजा की जालंधर में गोली मारी गई। उनकी डीएमसी में मौत हुई। 23 अप्रैल, 2016 : खन्ना के ललहेडी चौक में शिव सेना नेता दुर्गा दास गुप्ता की दो अज्ञात बाइक सवारों ने हत्या कर दी। 3 अप्रैल, 2016 : भैणी साहिब स्थित सत्गुरू जगजीत सिंह की धर्मपत्नि माता चंद कौर की भी अज्ञात बाइक सवार युवकों ने हत्या कर दी और फरार हो गए। 19 जनवरी, 2016 : किदवई नगर लुधियाना के शहीदी पार्क में जारी आरएसएस शाखा में अज्ञात बाइक सवार हथियारबंद लोगों ने स्वयंसेवक नरेश कुमार की ओर गोली चलाई लेकिन वह बाल-बाल बच गया।
- सुनीलराय कामरेड