सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को रिपब्लिक टीवी के एडिटर-इन-चीफ अर्नब गोस्वामी को फौरी राहत प्रदान की है। इस राहत के तहत तीन सप्ताह तक अर्नब की गिरफ्तारी या किसी अन्य तरह की दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगा दी गयी है। न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति एम आर शाह की खंडपीठ ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए की गयी सुनवाई के दौरान अर्नब की याचिका पर सभी छह राज्य सरकारों को नोटिस जारी किए।
सुप्रीम कोर्ट ने अर्नब को अपनी याचिका में संशोधन की अनुमति दी तथा सभी प्राथमिकियों और शिकायतों को अपनी याचिका में शामिल करने का निर्देश दिया। इस बीच वह अग्रिम जमानत याचिका दायर कर सकते हैं। सुप्रीम कोर्ट ने मुंबई पुलिस आयुक्त को निर्देश दिया कि वह वहां रिपब्लिक टीवी के कार्यालय और कर्मचारियों की सुरक्षा मुहैया करायें।
केंद्र सरकार ने कोरोना संकट के मद्देनजर भारतीय ई कॉमर्स पोर्टल जारी करने का किया फैसला
बता दें कि छत्तीसगढ़ के रायपुर जिले की पुलिस ने कांग्रेस नेताओं की शिकायतों पर संपादक अर्नब गोस्वामी के खिलाफ दो अलग- अलग मामले दर्ज किए । रायपुर जिले के पुलिस अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम और राज्य के स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने अर्नब गोस्वामी पर पालघर मामले में अपने वक्तव्य से देश की जनता के सद्भाव को समुदाय के आधार पर भड़काने और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पर टिप्पणी करने का आरोप लगाया।