कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) विरोधी प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तारी के बाद से जेल में बंद दलित नेता चंद्रशेखर आजाद के प्रति समर्थन प्रकट करते हुए रविवार को उनकी जल्द रिहाई की मांग की।
प्रियंका ने दलित नेता को जेल में रखे जाने को लेकर सरकार की आलोचना की।
उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से ताल्लुक रखने वाले आजाद की दलितों के बीच अच्छी पैठ मानी जाती है और उनकी ख्याति बढ़ रही है।
प्रियंका ने ट्वीट किया, ‘सरकार की नीति असहमति रखने वालों की अभिव्यक्ति व विरोध को दबाने की है जो कायरता तक पहुंच गई है। उनकी कार्रवाइयों में बुनियादी मानवता का अभाव शर्मनाक है। चंद्रशेखर को जेल में रखने का बिल्कुल कोई आधार नहीं बनता। उनको अकेला छोड़ दिया गया है और उनका इलाज कराने से इनकार कर दिया गया है। इलाज के लिए उन्हें तुरंत एम्स भेजा जाना चाहिए।’
कांग्रेस महासचिव पूरे उत्तर प्रदेश में घूम रही हैं और सीएए विरोधी प्रदर्शन के दौरान पुलिस की कार्रवाई से पीड़ित लोगों से मिल रही हैं।
पार्टी नेता जितिन प्रसाद भी प्रदर्शन के दौरान पुलिस की गोली के शिकार हुए लोगों के परिजनों से मिल रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘प्रियंकाजी ने राज्य में काफी असर पैदा किया है। वह उत्पीड़न के शिकार लोगों से मिल रही हैं, दलितों और अल्पसंख्यकों के साथ सरकार के व्यवहार से आहत हैं। चंद्रशेखर आजाद के साथ जैसा सलूक किया गया, वह अस्वीकार्य है।’
कांग्रेस नेता ने कहा कि प्रियंका के आवाज उठाने के कारण सरकार दबाव में है, यही वजह है कि मैनपुरी के नवोदय विद्यालय में एक छात्रा की मौत की सीबाआई जांच का आदेश दिया गया।
प्रियंका गांधी ने शनिवार को मुजफ्फरनगर और मेरठ में पीड़ितों से मुलाकात की थी, जहां सीएए विरोधी प्रदर्शन के दौरान बच्चों से लेकर बुजुर्गो तक को बेरहमी से पीटा गया था।