नोटबंदी की घोषणा के एक साल पूरे होने पर केंद्र की मोदी सरकार पर हमला शुरू करते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम ने आज कहा कि नोटबंदी के कारण लाखों लोग परेशान हुए और इस बात से कोई इंकार नहीं कर सकता है कि इसके कारण लोगों की जान और नौकरी दोनों गई।
नोटबंदी के फैसले के एक साल के बाद पूर्व वित्त मंत्री ने कहा कि इस काला दिवस पर लोगों की वास्तविक जीवन की कहानी पढ़नी चाहिए और इसके कारण परेशान होने वाले लाखों लोगों के लिए प्रार्थना करनी चाहिए।
On demonetisation Black Day read real-life stories, say a prayer
for the millions who suffered.— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
उन्होंने अपने कई ट्वीट में कहा, क्या कोई इससे इनकार कर सकता है कि लोगों की जान गई, छोटे व्यापार बंद हो गए और रोजगार छिन गया?
Can any one deny lives were lost, small businesses closed and jobs were lost?
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
चिदंबरम ने दावा किया कि जनता के पास 15 लाख करोड़ रुपये नकद है, यह मात्रा बढ़ रही है और नवंबर 2016 में 17 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच जाएगा।
Cash with public Rs 15 lakh crore and increasing, will soon reach Nov 2016 level of Rs 17 lakh crore!
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
उन्होंने कहा कि कितनी नकदी (रुपये की आपूर्ति) होनी चाहिए, यह फैसला रिजर्व बैंक का होना चाहिए, नाकि सरकार का।
How much cash (money supply) there should be is a decision of RBI, not the government.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
कांग्रेस नेता ने दावा किया कि कम मांग और कम वृद्धि के कारणों में से एक चलन में नकदी की कृत्रिम कमी भी है। उन्होंने सवाल किया, पारदर्शिता के हित में, सरकार आरबीआई को रिजर्व बैंक बोर्ड का एजेंडा जारी करना चाहिए, पहले की टिप्पणी और (पूर्व गर्वनर) रघुराम राजन की टिप्पणी के बारे में बताना चाहिए। यदि सरकार को अपने निर्णय पर भरोसा है, तो वह इन दस्तावेजों को सार्वजनिक करने से क्यों डर रही है?
In interest of transparency, Govt/RBI should release RBI Board’s agenda, background note and Dr Raghuram Rajan’s note.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
If govt is confident of its decision, why does it fear releasing these documents?
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
ठीक एक साल पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने काला धन, भ्रष्टाचार, जाली नोट और आतंकवाद को वित्त पोषण के खिलाफ लड़ाई की दिशा में एक कदम उठाते हुए 1,000 रुपये और 500 रुपये के मौजूदा नोटों को चलन से बाहर करने की घोषणा की थी।
विपक्ष आज नोटबंदी के एक साल पूरे होने पर काला दिवस मना रहा है। चिदंबरम ने कहा, सरकार दावा करती है कि काला धन का सफाया हो गया है लेकिन जब गुजरात चुनाव का अभियान शुरू होगा तब आपको सफाया हुआ काला धन मिल जाएगा।
Black money eliminated says Govt. Let the Gujarat election campaign start and you will find the ‘eliminated’ black money.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017
उन्होंने पूछा, बीबीसी का कहना है कि मोदी की मुद्रा संबंधी इस दांव से भारतीय अर्थव्यवस्था को नुकसान हुआ है। क्या बीबीसी काले धन और भ्रष्टाचार की समर्थक है?
”Modi’s currency gamble damaged Indian economy” says BBC. Is BBC a supporter of black money and corruption?
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 8, 2017