कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने कोरोना संकट के मद्देनजर भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के रेपो दर में कटौती के फैसले का शुक्रवार को स्वागत किया। इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि कर्ज पर किश्तों के भुगतान की तिथि को आगे बढ़ाने का फैसला स्पष्ट नहीं है, जिससे कर्ज लेने वालों को निराशा होगी।
I welcome the RBI’s decision to cut the repo rate and measures to provide more liquidity.
However, the RBI’s direction on deferment of EMI dates is ambiguous and half-hearted. The demand is that all EMI due dates must be automatically deferred.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) March 27, 2020
चिदंबरम ने ट्वीट कर कहा, ‘‘मैं रेपो रेट में कटौती के आरबीआई के फैसले और अधिक नकदी प्रदान करने के लिए उठाए कदमों का स्वागत करता हूं। बहरहाल, ईएमआई की तिथि आगे बढ़ाने पर आरबीआई का निर्देश अस्पष्ट है और यह अधूरे मन से किया गया है। मांग यह है कि सभी ईएमआई के भुगतान की तिथियां स्वत: आगे बढ़नी चाहिए।’’ उन्होंने दावा किया, ‘‘मैंने सुझाव दिया था कि सभी तिथियों को 30 जून तक बढ़ाया जाए। अब कर्ज लेने वालों को बैंकों पर निर्भर बना दिया गया है और वे निराश होंगे।’’
कोरोना संकट से निपटने के लिए भारत का दक्षेस देशों के लिए ऑनलाइन मंच का प्रस्ताव
बता दें कि कोरोना वायरस के संकट को देखते हुए आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने शुक्रवार को रेपो रेट में 0.75 फीसदी की कटौती सहित कई निर्णयों की घोषणा की। उन्होंने यह भी कहा कि कर्ज की ईएमआई चुकाने में 3 महीने की छूट मिलेगी।