भारत में मौत का तांडव मचा रही कोरोना महामारी की दूसरी लहर के जाने के लिए अभी जुलाई तक का इंतजार करना पड़ सकता है। विज्ञान एवं तकनीकी विभाग की ओर से बनाए 3 सदस्यीय पैनल ने केंद्र सरकार को बताया है कि भारत में कोरोना की दूसरी लहर का असर इस साल जुलाई में कम होना शुरू होगा, तो वहीं तीसरी लहर भी अगले 6 से 8 महीने के अंदर देश में दस्तक दे सकती है। पैनल ने यह अनुमान सूत्रा मॉडल के आधार पर लगाया है।
जिसके मुताबिक, मई के आखिर में भी भारत में हर दिन कोरोना के डेढ़ लाख मामले सामने आएंगे और जून के अंत तक यह आंकड़ा 20 हजार तक कम होगा। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पैनल के सदस्य और आईआईटी कानपुर के प्रोफेसर मनींद्र अग्रवाल ने बताया कि महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, झारखंड, राजस्थान, केरल, सिक्किम, उत्तराखंड, गुजरात, हरियाणा, दिल्ली और गोवा में कोरोना की दूसरी लहर का पीक बीत चुका है। जिस मॉडल के आधार पर अनुमान पेश किया गया है।
उसके मुताबिक तमिलनाडु में कोरोना का पीक 29-31 मई के बीच आएगा तो वहीं पुडुचेरी में 19-20 मई को। मॉडल के मुताबिक, देश में कोरोना की तीसरी लहर अगले 6 से 8 महीनों में आ सकती है। हालांकि, यह भी बताया गया है कि इसके असर को कम किया जा सकता है। तीसरी लहर आने तक कई लोगों को टीका लग चुका होगा और लोगों में इम्यूनिटी होगी। अक्टूबर 2021 तक तो कम से कम तीसरी लहर नहीं आने वाली है।