लुधियाना- अमृतसर : गुरू की नगरी के नाम से विख्यात जिला अमृतसर के पुलिस स्टेशन मतेवाल के अंतर्गत गांव रामदीवाली मुसलमाना में श्री गुरु ग्रंथ साहिब और गुटका साहिब जी को गुरूद्वारा बाबा जीवन सिंह में घुस कर अगिन भेंट करने और बेअदबी करने वाले तीन आरोपियों को अतिरिक्त जिला व सत्र न्यायाधीश शिव मोहन गर्ग की अदालत ने आज 7 —7 वर्ष कैद की सजा सुनाई है। प्रत्येक आरोपी को अलग अलग धाराओं के तहत 7—7 हजार रूपये अर्थिक जुर्माना की भी सजा सुनाई गई है। यह फैसला पंजाब में हुई अब तक की बेअदबी घटनाओं में अदालत ने पहली बार किसी केस में फैसला सुनाकर दोषियों को सख्त सजा दी है।
जानकारी के अनुसार थाना मत्तेवाल पुलिस ने पिछले साल 11-12 मार्च की आधी रात को गुरूद्वारा बाबा जीवन सिंह में एक दुखद घटना घटित हुई थी और गांववासियों ने पुलिस के सहयोग के साथ इस घिनौनी कार्यवाही को अंजाम देने वाले दोषी व्यक्तियों को मौके पर काबू किया था। जानकारी के मुताबिक जिस वक्त आधी रात को इस घिनौनी कार्यवाही को अंजाम दिया जा रहा था, उस वक्त गुरूद्वारा साहिब के अंदर कुछ हलचल के उपरंात आग की लपटे देखकर बाहर संगत ने अंधेरे में एक शख्स को गुरूद्वारा साहिब से बाहर भागते देखा तो वह मौजूद लोगों को गुरूद्वारा साहिब के बाहर देखकर छुप गया, जिसके बाद संगत ने उसे काबू कर लिया। जब तक पुलिस गुरूद्वारा साहिब में कार्यवाही के लिए पहुंचती तो गुरूद्वारा साहिब के अंदर लगी आग विकराल रूप धारण का चुकी थी।
हालांकि संगत ने अपने ही स्तर पर आग पर काबू करने का काफी प्रयास किया। परंतु सुखआसन पर विराजमान श्री गुरू ग्रंथ साहिब जी के 2 पावन स्वरूप और 10 के करीब गुटका साहिब अगिन भेंट हो चुके थे। पुलिस ने इस कार्यवाह के दौरान काबू किए गए शख्स को जब कड़ाई से पूछताछ की तो उसने इस घिनौनी कार्यवाही में शामिल दो साथियों के नाम भी पुलिस को बताएं, जिन्हें पुलिस ने उनके घरों से गिरफतार करके मामला दर्ज कर लिया। गिरफतार किए गए आरोपियों में 36 वर्षीय प्रेम सिंह टीटू, 20 वर्षीय शमशेरा और राजन मसीह जो उसी गांव के रहने वाले थे।
पुलिस के मुताबिक तीनों अरोपियों के खिलाफ पहले भी गुरूद्वारा साहिब की गोलक से पैसे चोरी करने, नाजायज शराब बेचने के मामले दर्ज थे। इन पर आरोप था कि यह तीनों व्यक्ति गांव के गुरुद्वारा साहिब में घटना वाले दिन घुसे थे। जिनमें से एक आरोपी श्री गुरु ग्रंथ साहिब के अंगों को फाड़ रहा था जबकि दूसरा व्यक्ति गुटका साहिब को फाड़ रहा था और तीसरा आरोपी गुरुद्वारा साहिब की गोलक को तोड़ रहा था। पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया था। अदालत में चली कार्रवाई के दौरान आरोप साबित होने पर अदालत ने आरोपियों को अलग अलग धाराओं में सात सात वर्ष कैदा और सात सात हजार रूपये जुर्माना की सजा सुनाई गई।
– सुनीलराय कामरेड