पंजाब नेशनल बैंक घोटाले के आरोपी नीरव मोदी के आलीशान बंगले को गिराए जाने का काम इसे आरंभ करने के दो दिन बाद 27 जनवरी को रोक दिया गया। महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले में स्थित मोदी के बंगले को गिराने का काम इसलिए रोका गया क्योंकि प्रशासन घर के भीतर से कीमती सामानों को सही से निकालना चाहता है ताकि संपत्ति से अधिक से अधिक रकम की भरपायी की जा सके।
जिला प्रशासन ने कहा है कि सिविल इंजीनियरिंग विभाग के इंजीनियरों से मांगी गई रिपोर्ट मिल चुकी है और अब वे बंगले को गिराने का काम फिर शुरू करेंगे। विभाग के इंजीनियरों से आगे की कार्रवाई के संबंध में पूछा गया था। रायगढ़ के जिलाधिकारी विजय सूर्यवंशी ने पिछले महीने मुंबई से 90 किलोमीटर दूर अलीबाग तट के पास किहिम में स्थित 58 अनधिकृत इमारतों को गिराने का आदेश दिया था और नीरव मोदी का बंगला भी इसमें शामिल था।
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अवैध ढांचे के खिलाफ कार्रवाई शुरू करने में नाकामी पर बंबई उच्च न्यायालय की फटकार के बाद इन इमारतों को गिराने का आदेश जारी किया गया था। अन्य एजेंसियों के साथ पीएनबी मामले की जांच कर रही ईडी ने इस संपत्ति की जब्ती की थी। नीरव मोदी देश छोड़कर कहीं और फरार है।
सूर्यवंशी ने बताया कि बंगला गिराने की कार्रवाई अस्थायी तौर पर रोकी गयी क्योंकि जिला प्रशासन और ईडी बंगले से मूल्यवान सामानों को निकालकर नुकसान की अधिकतम भरपायी करना चाहती है। घटनाक्रम से वाकिफ एक अन्य अधिकारी ने बताया कि ध्वस्त करने के काम में जुटी टीम को बंगले में दो कीमती कारें भी मिली। उन्होंने बताया कि दल को बंगले के भीतर गद्दे, ग्लास फ्रेम, फर्नीचर आदि सामान भी मिले।