रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने आज स्वदेशी रूप से विकसित स्क्रैमजेट प्रोपल्शन सिस्टम का प्रयोग करते हुए हाइपरसोनिक टेक्नोलॉजी डिमॉन्स्ट्रेटर व्हीकल का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। इसके साथ ही आज देश को रक्षा अनुसंधान के क्षेत्र में बड़ी कामयाबी हासिल हुई है। इस मौके पर रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने वैज्ञानिकों को बधाई दी।
रक्षामंत्री ने ट्वीट करते हुए लिखा, डीआरडीओ ने आज स्वदेशी रूप से विकसित स्क्रैमजेट प्रोपल्शन सिस्टम का उपयोग कर हाइपरसोनिक टेक्नोलॉजी डिमॉन्स्ट्रेटर व्हीकल का सफलतापूर्वक परीक्षण किया है। इस सफलता के साथ, सभी महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकियां अब अगले चरण की प्रगति के लिए स्थापित हो गई हैं।
I congratulate to DRDO on this landmark achievement towards realising PM’s vision of Atmanirbhar Bharat. I spoke to the scientists associated with the project and congratulated them on this great achievement. India is proud of them.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) September 7, 2020
उन्होंने कहा, मैं डीआरडीओको इस महान उपलब्धि के लिए बधाई देता हूं जो प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार करने की दिशा में है। मैंने परियोजना से जुड़े वैज्ञानिकों से बात की और उन्हें इस महान उपलब्धि पर बधाई दी। भारत को उन पर गर्व है।
हाइपरसोनिक टेक्नोलॉजी डिमॉन्स्ट्रेटर व्हीकल का भविष्य में न केवल हाइपरसोनिक क्रूज मिसाइल बनाने में इस्तेमाल होगा बल्कि इसकी मदद से काफी कम खर्चे में सैटेलाइट लॉन्चिंग की जा सकेगी। इसका हाइपरसोनिक और लंबी दूरी की क्रूज मिसाइलों के लिए यान के तौर पर इस्तेमाल किया जाएगा। यह एक दोहरे उपयोग की प्रौद्योगिकी है। कई असैन्य कार्यों में भी इसका प्रयोग किया जाएगा।