केंद्र सरकार ने पूर्वोत्तर क्षेत्र के विकास कार्यों के लिए स्थायी संसाधन कोष की अवधि मार्च 2020 तक बढ़ने का फैसला किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की आज यहां हुई बैठक में इस आशय के प्रस्ताव को मंजूरी दी गयी। बैठक के बाद विधि एवं न्याय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि पूर्वोत्तर के विकास के लिए गठित किए गए 5300 करोड़ रुपए के गैर लेप्सेबल सेंट्रल पूल ऑफ रिसोर्स (एनएलसीपीआर) – स्थायी संसाधन कोष की अवधि मार्च 2020 तक बढ़ा दी गयी है।
इसके तहत पूर्वोत्तर क्षेत्र में चल रही विभिन्न विकास परियोजनाओं में केंद्र सरकार की हिस्सेदारी 90 प्रतिशत होती है जबकि 10 प्रतिशत हिस्सेदारी संबंधित राज्य सरकार की होती है। अवधि बढ़ाए जाने से क्षेत्र में जारी परियोजनाओं को पूरा किया जा सकेगा। उन्होंने बताया कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पूर्वोत्तर क्षेत्र में विकास कार्यों के लिए नयी योजना‘ पूर्वोत्तर क्षेत्र विशेष बुनियादी ढांचा विकास योजना’का भी अनुमोदन किया है। यह योजना वित्त वर्ष 2017-18 से लागू होगी और मार्च 2020 तक चलेगी।
हमारी मुख्य खबरों के लिए यह क्लिक करे।