2019 में आने वाले लोकसभा चुनाव से पहले चुनाव आयोग ने बड़ा कदम उठाया है। चुनाव आयोग ने सरकार से राजनीतिक दलों को मिलने वाले बेनामी चंदे की सीमा तय करने का आग्रह किया। आयोग ने और पारदर्शिता लाने के लिए इसकी मौजूदा 20,000 रुपये की सीमा को 2000 रुपये करने को कहा। आयोग की इस मांग को पूरा कर दिया गया है, लेकिन बेनामी चंदे को 2 हजार तक सीमित किए जाने की मांग अभी अधूरी है।
चुनाव आयोग ने कहा- 20 हजार रुपए तक के बेनामी चंदे की घोषणा की जरूरत नहीं है। ऐसे में हमें लगता है कि कैश चंदा भी स्वीकार किया जा सकता है, जो कि 2 हजार रुपए से ज्यादा कैश चंदे के नियम के विपरीत है। ”बेनामी चंदा लिए जाने पर राजनीतिक दलों पर संवैधानिक या कानूनी पाबंदी नहीं है, लेकिन जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत बेनामी चंदे की घोषणा करना जरूरी है, जो कि अप्रत्यक्ष रूप तौर पर प्रतिबंध की तरह है। लेकिन, इस तरह का प्रतिबंध केवल 20 हजार से ऊपर के बेनामी चंदे पर है।’
चुनाव आयोग ने कहा कि हमने 2017 में भी सरकार को बेनामी चंदे की सीमा तय करने के लिए खत लिखा था। हाल में लिखा गया खत अपनी उसी मांग की याद दिलाने के लिए है। इस पर अभी कदम नहीं उठाया गया है। कानून की धारा 29सी के तहत राजनीतिक दल को 20 हजार से ऊपर के चंदे की रिपोर्ट हर साल तैयार करनी है।