पूर्व कांग्रेस नेता और विश्व तमिल महासंघ के अध्यक्ष पाझा नेदुमारन ने एक बड़ा दावा किया है उन्होनें आज कहा है कि लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल ईलम के चीफ वेलुपिल्लई प्रभाकरन जिंदा और सुरक्षित है। नेदुमारन ने प्रभाकरन के वर्तमान ठिकाने का खुलासा नहीं किया, लेकिन कहा कि वे जल्द ही सार्वजनिक रूप से सामने आएंगे।
लगातार उनके संपर्क में है पाझा नेदुमारन
नेदुमारन ने यह भी दावा किया कि प्रभाकरन का परिवार भी सुरक्षित है क्योंकि वह लगातार उनके संपर्क में है। उन्होंने कहा कि प्रभारकन की सहमति के बाद ही मैंने ये जानकारी दी है। उन्होंने कहा कि मुझे उम्मीद है कि यह खबर उन अटकलों को खत्म कर देगी जो व्यवस्थित रूप से उनके बारे में फैलाई गई हैं।
श्रीलंका का यूज करने पर भी नेदुमारन ने बड़ा दावा किया
भारत को निशाना बनाने के लिए चीन की ओर से श्रीलंका का यूज करने पर भी नेदुमारन ने बड़ा दावा किया। उन्होंने कहा कि चीन वर्तमान में भारत के खिलाफ जाने के अपने उद्देश्य को लेकर श्रीलंका का उपयोग करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहा है। हम भारत सरकार से इस पर ध्यान देने और इसे रोकने की कोशिश करने का अनुरोध करते हैं।
कौन है वेलुपिल्लई प्रभाकरन?
वेलुपिल्लई प्रभाकरन एक श्रीलंकाई तमिल गुरिल्ला और लिबरेशन टाइगर्स ऑफ़ तमिल ईलम (LTTE) का संस्थापक है। लिट्टे को आतंकी संगठन कहा जाता है। लिट्टे ने श्रीलंका के उत्तर और पूर्व में एक स्वतंत्र तमिल राज्य बनाने की मांग की थी। लिट्टे ने श्रीलंकाई तमिल लोगों के लिए एक स्वतंत्र राज्य बनाने के लिए श्रीलंका में 25 से अधिक वर्षों तक युद्ध छेड़ा था।
निर्दोष लोगों के साथ कई राजनीतिक हस्तियों को भी उतार मौच ते घाट
LTTE यानी लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल ईलम करीब 30 सालों तक तक अपने आतंक और दहशत से श्रीलंका को बार-बार दहलाता रहा। अलग राज्य की मांग को लेकर लिट्टे ने सबसे पहले आत्मघाती दस्ते की शुरुआत की। इसने इस दस्ते का यूज कर हजारों निर्दोष लोगों के साथ कई राजनीतिक हस्तियों को भी मौत के घाट उतार दिया। इनमें पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी भी शामिल थे। श्रीलंका सरकार और सेना ने 2009 में लिट्टे चीफ वेणुपिल्लई प्रभाकरन समेत लिट्टे का श्रीलंका से सफाया कर दिया।