पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने मौजूदा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सोमवार को सलाह दी कि उन्हें गैर भाजपा शासित राज्यों के दौरे के दौरान संयम बरतना चाहिए और अपने आचरण के जरिए एक उदाहरण स्थापित करना चाहिए जो प्रधानमंत्री की उनकी नैतिकता के अनुरूप हो। पूर्व केंद्रीय मंत्री मनीष तिवारी की पुस्तक “फेबल्स ऑफ फ्रैक्चर्ड टाइम्स” के विमोचन के मौके पर पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा, “प्रधानमंत्री को मेरी सलाह है कि उन्हें संयम बरतते हुए पीएम पद की गरिमा बरकरार रखनी चाहिए”। प्रधानमंत्री को ऐसे समय में सलाह देना जब सार्वजनिक बहस का स्तर गिरता जा रहा है खासकर चुनाव के दौरान, इस बारे में पूछे जाने पर सिंह ने कहा कि वह प्रधानमंत्री के तौर पर जब भी भाजपा शासित राज्यों का दौरा किया करते थे, उनके मुख्यमंत्रियों के साथ संबंध ‘बहुत अच्छे’ होते थे।
डॉ. मनमोहन सिंह ने कहा कि मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान उनके इस दावे की पुष्टि करेंगे कि संप्रग शासन के दौरान भाजपा शासित राज्यों के साथ कोई भेदभाव नहीं किया गया। वहीं इसी मौके पर 26/11 मुंबई आतंकवादी हमलों की 10वीं बरसी के संबंध में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि आतंकवादी गतिविधियों पर लगाम लगाने के लिए भारत और पाकिस्तान के बीच कुछ समझदार तत्व पनपेंगे। उन्होंने इस बात पर भी गौर किया कि कश्मीर में जो हो रहा है वह उन पीड़ाओं का संकेत है जिनका कारण इन दोनों देशों के बीच खराब संबंध हैं।
जनता से किये वादे पूरा करने में नाकाम मोदी सरकार : मनमोहन सिंह
पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह ने केन्द, में प्रधानमंत्री नरेन्द मोदी की अगुवाई वाली राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) सरकार को सभी मोर्चे पर विफल करार दिया और कहा कि मोदी सरकार जनता से किये किसी भी वादे को पूरा करने में नाकाम रही है। डॉ सिंह ने आज यहां संवाददाता सम्मेलन में केन्द, के साथ-साथ मध्यप्रदेश की शिवराज सिंह चौहान पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि पिछले लोकसभा चुनाव में नरेन्द, मोदी ने देश की जनता से कई वादे किये थे। इनमें प्रति वर्ष दो करोड़ रोजगार देने का वादा भी किया गया था।
करीब साढ़ चार साल बीत जाने के बावजूद रोजगार के मोर्चे पर कोई ठोस काम नहीं किया गया। ऐसा लगता है कि मोदी सरकार में रोजगार का वादा भी जुमला बनकर रह गया है। पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा कि मोदी सरकार के साढ़ चार साल के कार्यकाल के दौरान देश मुसीबत में रहा है। देश की जनता महंगाई से त्रस्त रही। पेट्रोल-डीजल के दाम लगातार बढ़ते रहे। उन्होंने नोटबंदी को सरकार की बड़ विफलता बताते हुए कहा कि नोटबंदी और जीएसटी से किसान, व्यापारी, छोटे और लघु उद्योग सर्वाधिक मुसीबत में हैं।
डॉ सिंह ने मोदी सरकार पर राष्ट्रीय संस्थाओं के दुरूपयोग का आरोप लगाते हुए कहा कि केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) से जुड़ मामला अभी सर्वोच्च न्यायालय में है। उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि देश में इन संस्थाओं की हालत ऐसी क्यों हुई। उन्होंने राफेल विमान सौदे का जिक्र करते हुए कहा कि इससे जुड़ तथ्यों को छुपाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दल संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) से जांच की मांग कर रहे हैं लेकिन मोदी सरकार इसके लिए तैयार नहीं है। इससे ऐसा लगता है कि दाल में कुछ काला है।