दिल्ली में सत्तासीन आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार द्वारा 15 हजार गेस्ट टीचरों (अतिथि शिक्षकों) को नियमित करने का मामला लटक गया है। दरअसल, दिल्ली हाईकोर्ट ने गेस्ट टीचरों की नियमित नियुक्ति व पदोन्नति पर फिलहाल रोक लगा दी है। अब इस मामले की अगली सुनवाई के लिए 11 अक्तूबर की तारीख तय की गई है। कोर्ट ने अगली तारीख तक गेस्ट टीचरों को लेकर यथास्थि कायम रखने के निर्देश दिए हैं।
यहां पर बता दें कि एक दिन पहले यानी बुधवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में करीब 15,000 शिक्षकों को नियमित करने का फैसला लिया गया था। फिलहाल दिल्ली में 17000 गेस्ट टीचर हैं, जो दिल्ली सरकार के स्कूलों में शिक्षण कार्य करते हैं।
दिल्ली में सत्तासीन आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार द्वारा 15 हजार गेस्ट टीचरों (अतिथि शिक्षकों) को नियमित करने का मामला लटक गया है। दरअसल, दिल्ली हाईकोर्ट ने गेस्ट टीचरों की नियमित नियुक्ति व पदोन्नति पर फिलहाल रोक लगा दी है। अब इस मामले की अगली सुनवाई के लिए 11 अक्तूबर की तारीख तय की गई है। कोर्ट ने अगली तारीख तक गेस्ट टीचरों को लेकर यथास्थि कायम रखने के निर्देश दिए हैं।
यहां पर बता दें कि एक दिन पहले यानी बुधवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में करीब 15,000 शिक्षकों को नियमित करने का फैसला लिया गया था। फिलहाल दिल्ली में 17000 गेस्ट टीचर हैं, जो दिल्ली सरकार के स्कूलों में शिक्षण कार्य करते हैं।
गौरतलब है कि हाईकोर्ट ने 2016 में याचिका पर सुनवाई के बाद राजधानी में अध्यापकों के 26 हजार से ज्यादा पदों को भरने के निर्देश दिए थे। इस आदेश पर अब अमल होना शुरू हुआ है।
यहां पर बता दें कि इनमें अध्यापकों के वह नौ हजार पद शामिल नहीं है जो बाद में खाली हुए हैं और जिनका विज्ञापन दिल्ली अधीनस्थ सेवा चयन बोर्ड ( डीएसएसएसबी) ने सात अगस्त को निकाला था। हालांकि इसे 24 अगस्त को वापस ले लिया गया।