भाकपा ने बेंगलुरु की जेल में विशेष सुविधा पाने के लिए अन्नाद्रमुक महासचिव वीके शशिकला द्वारा कुछ जेल अधिकारियों को 2 करोड़ रूपये दिए जाने के आरोपों की एक उच्च स्तरीय जांच कराये जाने की आज मांग की है। दरअसल, शशिकला इस जेल में कैद हैं। भाकपा के राष्ट्रीय सचिव डी राजा ने संवाददाताओं से कहा कि दोषी अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्वाई की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि इससे साबित हो गया है कि कोई व्यक्ति अधिकारियों को रिश्वत दे सकता है और जेल में आराम से रह सकता है।
इस विषय की एक उच्च स्तरीय कमेटी से जांच करानी चाहिए। राजा ने कहा कि भ्रष्टाचार से जेल भी अछूता नहीं रह गया है। राष्ट्रपति और उप राष्ट्रपति चुनाव पर राजा ने कहा कि यह दो अलग – अलग विचारधाराओं के बीच चुनाव है। उन्होंने कहा कि एक ओर जहां आरएसएस के सहयोग से भाजपा सांप्रदायिक राजनीति कर रही है, वहीं दूसरी ओर 18 विपक्षी पार्टियां हैं, जो देश का संवैधानिक मूल्य और धर्मनिरपेक्ष ताना बाना कायम रखे हुए हैं।
उन्होंने तमिलनाडु के सांसदों से विपक्ष के उम्मीदवार मीरा कुमार और गोपालकृष्ण गांधी को वोट डालने की अपील की। राजा ने भाजपा सरकार पर किसानों के हित को नजरअंदाज करने का आरोप लगाया। कम से कम सरकार को एमएस स्वामीनाथन कमेटी की सिफारिशों को लागू करने और किसानों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) उचित ढंग से तय करने के लिए आगे आना चाहिए।
साथ ही कृषि पर लागत भी घटानी चाहिए। उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि सरकार हिन्दी और संस्कृत थोपने की कोशिश कर रही है तथा यह नीति देश की एकता और संप्रभुता के खिलाफ है। राजा ने यह आरोप भी लगाया कि भाजपा नीत सरकार सरकारी कंपनियों का निजीकरण करने की कोशिश कर रही है और नीति आयोग अब सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों को निजी क्षेत्र के पास हस्तांतरित करने का प्राधिकरण बन गया है।