भारत ने कोविड-19 महामारी के अर्थव्यवस्था पर पड़े प्रभाव से निपटने में मदद के लिये मालदीव को 25 करोड़ डॉलर की वित्तीय सहायता उपलब्ध करायी है। भारतीय दूतावास ने रविवार को यह जानकारी दी। वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कहा कि एक गहरे मित्र और पड़ोसी होने के नाते भारत और मालदीव कोविड-19 से पैदा हुई स्वास्थ्य व आर्थिक चिंताओं का मुकाबला करने के लिए एक-दूसरे का सहयोग जारी रखेंगे।
Appreciate your warm sentiments, President @ibusolih! As close friends and neighbours, India and Maldives will continue to support each other in our fight against the health and economic impact of COVID-19. https://t.co/esNRBWJxZg
— Narendra Modi (@narendramodi) September 21, 2020
मोदी ने यह बात मालदीव के राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सोलिह के एक ट्वीट के जवाब में कही। सोलिह ने उनके देश की वित्तीय सहायता करने के लिए मोदी को धन्यवाद दिया था। सोलिह ने कहा, ‘‘मालदीव को जब भी दोस्त की जरूरत महसूस हुई है भारत ने हमेशा उसकी मदद की है। 25 करोड़ डॉलर की वित्तीय सहायता के रूप में सदाशयता और पड़ोसी होने की भावना दिखाने के लिए मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भारत और वहां की जनता का तहेदिल से शुक्रिया करता हूं।’’
इसके जवाब में मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘राष्ट्रपति सोलिह, आपकी भावनाओं का हम आदर करते हैं। एक गहरे मित्र और पड़ोसी होने के नाते भारत और मालदीव कोविड-19 से पैदा हुई स्वास्थ्य व आर्थिक चिंताओं का मुकाबला करने के लिए एक-दूसरे का सहयोग जारी रखेंगे।’’ उन्होंने कहा कि उनकी शुभकामनाएं उन्हें अपने देश के नागरिकों की जिंदगी संवारने की दिशा में सेवा और काम करने में मजबूती देंगी।
बता दें कि मालदीव के राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सोलिह के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से देश की कठिन आर्थिक स्थिति से पार पाने में मदद के आग्रह के बाद यह सहायता दी गयी है। यह वित्तीय सहायता सर्वाधिक अनुकूल शर्तों पर उपलब्ध करायी गयी है। विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ डिजिटल माध्यम से बैठक के दौरान वित्तीय सहायता की घोषणा की गयी थी। यह सहायता भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई), माले को ट्रेजरी बांड की बिक्री के जरिये उपलब्ध करायी गयी। भुगतान को लेकर ट्रेजरी बिल की अवधि दस साल है।
दूतावास ने कहा कि भारत-मालदीव की भागीदारी अलग और अनूठी है और कोविड-19 महामारी ने इसे रेखांकित किया है। भारत इस कठिन समय में हमेशा मालदीव की जनता और यहां के लोगों के साथ खड़ा रहा है और रहेगा। भारत ने कोवड-19 महामारी के दौरान निरंतर मालदीव को सहायता उपलब्ध करायी है। कोविड-19 महामरी से निपटने को लेकर डॉक्टरों और विशेषज्ञों का एक दल मार्च में मालदीव गया था। अप्रैल में 5.5 टन जरूरी दवाओं की खेप दी गयी।
वहीं 6.2 टन दवाएं और 580 टन खाद्य पदार्थ मई में भारतीय वायु सेना ने पहुंचाये। मालदीव सरकर के आग्रह पर भारत वहां की स्वास्थ्य व्यवस्था को मजबूत करने के लिये अल्प अवधि के लिये अनुबंध के आधार पर नियुक्त किये गये डॉक्टरों और नर्सों को भेजेगा। मालदीव के राजस्व में पर्यटन की एक तिहाई हिस्सेदारी है। कोविड-19 संकट के कारण पर्यटन पर बुरा असर पड़ा है।