खालिस्तान चरमपंथ और ''विदेशी हस्तक्षेप'' पर एक सवाल के जवाब में, ट्रूडो ने कहा कि उनकी और प्रधानमंत्री मोदी के बीच वार्ता में ये मुद्दे सामने आये। उन्होंने कहा, ''कनाडा हमेशा अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन की स्वतंत्रता की रक्षा करेगा और यह हमारे लिए बेहद महत्वपूर्ण है।'' ट्रूडो ने कहा, ''साथ ही, हम हिंसा को रोकने और नफरत को पीछे धकेलने के लिए हमेशा तैयार रहते हैं। मुझे लगता है कि यह याद रखना महत्वपूर्ण है कि कुछ लोगों की हरकतें पूरे समुदाय या कनाडा का प्रतिनिधित्व नहीं करतीं।