आईटीएटी ने कांग्रेस के बैंक खातों को किया फ्रीज, इसके खिलाफ गुजरात कांग्रेस आज करेगी विरोध प्रदर्शन

आईटीएटी ने कांग्रेस के बैंक खातों को किया फ्रीज, इसके खिलाफ गुजरात कांग्रेस आज करेगी विरोध प्रदर्शन
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गुजरात कांग्रेस भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (आईएनसी) और युवा कांग्रेस के बैंक खातों को 'फ्रीज' करने के खिलाफ शनिवार को अहमदाबाद में आश्रम रोड पर इनकम टैक्स सर्कल पर विरोध प्रदर्शन करेगी। विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व प्रदेश अध्यक्ष शक्तिसिंह गोहिल करेंगे।
आईटीएटी ने कांग्रेस के बैंक खाते किये फ्रीज
पार्टी का विरोध कार्यक्रम कांग्रेस के यह कहने के बाद आया है कि उसके बैंक खाते, जिनमें युवा कांग्रेस के खाते भी शामिल हैं, आयकर अपीलीय न्यायाधिकरण (आईटीएटी) द्वारा फ्रीज और निष्क्रिय कर दिए गए हैं।
हालांकि, ठीक एक घंटे बाद पार्टी ने दावा किया कि आईटी विभाग ने उसे डीफ्रोज कर दिया गया है।
कांग्रेस ने इसे पार्टी के फंड को रोककर उसकी चुनावी तैयारियों को बाधित करने की भाजपा सरकार की चाल बताया, लेकिन कांग्रेस की कर देनदारी पर कर अधिकारियों के खुलासे ने पूरे खाता फ्रीज विवाद के बारे में स्थिति साफ कर दी है।
खातों से पैसे निकालकर की गई वसूली एक नियमित वसूली उपाय
आईटी विभाग के सूत्रों ने इसे नियमित वसूली उपाय बताया। कर अधिकारियों ने कहा कि खातों से पैसे निकालकर की गई वसूली एक नियमित वसूली उपाय है और कांग्रेस के खातों को 'न तो अवरुद्ध किया गया और न ही बंद किया गया'। इसके अलावा, पार्टी के पास अपनी गतिविधियों के लिए कई और खाते हैं।
कांग्रेस पर करीब 135 करोड़ रुपये का बकाया
वित्तवर्ष 2018-19 के लिए कांग्रेस पर करीब 135 करोड़ रुपये का बकाया है और इसमें 103 करोड़ रुपये असेसमेंट और 32 करोड़ रुपये (लगभग) ब्याज की मांग शामिल है।
कांग्रेस कर देनदारी की जानकारी रखने वाले आयकर सूत्रों के अनुसार, कांग्रेस के विभिन्न बैंक खातों से पैसे निकालेे जाने से 115 करोड़ रुपये की वसूली प्रभावित हुई है।
आयकर विभाग ने कांग्रेस से 21 करोड़ रुपये का भुगतान करने का किया अनुरोध
आयकर विभाग ने एक बयान में आगे कहा कि कांग्रेस से कुल मांग का 20 प्रतिशत (यानी लगभग 21 करोड़ रुपये) भुगतान करने का अनुरोध किया गया था, मगर केवल 78 लाख रुपये भुगतान किया गया। चूंकि कांग्रेस बकाये की मांग का 20 प्रतिशत भुगतान करने में विफल रही, इसलिए एक पत्र जारी किया गया था, जिसमें 104 करोड़ रुपये की शेष मांग का भुगतान करने के लिए कहा गया था। सीआईटी (ए) के समक्ष आईएनसी द्वारा दायर अपील बाद में खारिज कर दी गई।

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