सीएए और एनपीआर मुद्दे को लेकर विपक्ष ने एक बार फिर सरकार पर निशाना साधा है। सीएए और एनपीआर जैसे मुद्दों से देश के लोगों का ध्यान बंटाने का आरोप लगाते हुए विपक्ष ने बृहस्पतिवार को कहा कि सरकार महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दे पर कुछ भी नहीं बोल रही है।
उच्च सदन में राष्ट्रपति अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में भाग लेते हुए भाकपा के विनय विश्वम ने कहा, ‘‘सरकार भारत के लोगों को विभाजित करना चाहते हैं। इसके लिए वे संविधान को खत्म करना चाहते हैं। उनका मुख्य जोर संविधान को भीतर से ही खत्म करने का है।’’ विनय विश्वम ने दावा किया कि सरकार अपने वादों को पूरा करने में असफल रही है तथा वह सीएए, एनपीआर के जरिये लोगों का ध्यान बंटाना चाहती है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने सत्ता संभालने से पहले संविधान को प्रणाम कर उसे चूमा था। उन्होंने कहा कि जिस तरह से सरकार द्वारा संविधान को खत्म किया जा रहा है, उससे प्रधानमंत्री के उस आचरण पर आशंका उठती है। विश्वम ने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार सदैव ‘‘हम’’ और ‘‘वे’’ का प्रयोग करती है। उन्होंने सरकार से सवाल किया कि उन्हें यह स्पष्ट करना चाहिए हम और वे से उनका क्या मतलब है।
उन्होंने आरोप लगाया कि केन्द्र की भाजपा सरकार हिटलर के फासीवाद का भारतीय चेहरा है। वहीं कांग्रेस की विप्लव ठाकुर ने कहा कि आज देश जिन दो सबसे बड़ी समस्याओं बेरोजगारी और महंगाई से जूझ रहा है, उनके बारे में राष्ट्रपति के अभिभाषण में कोई उल्लेख नहीं किया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार की अधिकतर घोषणाएं ‘‘मुंगेरीलाल के सपने’’ साबित हुई हैं।
भाजपा और अन्य संगठन अपने आचरण पर भी दें ध्यान : मोहन भागवत
उन्होंने दावा किया कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार ने देश को दिखाया था कि चुनावी वादे कैसे पूरे किये जाते हैं। ठाकुर ने कहा कि सरकार देश की महिलाओं के लिए आज तक कुछ नहीं कर रही है। वहीं भाजपा के नारायण राणे ने कहा कि अभिभाषण में विभिन्न क्षेत्र में पिछले पांच सालों में जो तरक्की हुई है, उसकी जानकारी दी गयी है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार ने उन कामों को पूरा करने का प्रयास किया जो पिछले 70 सालों में नहीं किये गये।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस के सदस्य सरकार को बहुत सारे काम पूरे नहीं होने के लिए घेर रहे हैं। उन्होंने कहा कि जो लोग पिछले 50-55 सालों में काम पूरा नहीं कर पाए, वे लोग चाहते हैं कि पांच सालों में उन कामों को पूरा कर लिया जाए। राणे ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष को जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाये जाने के लिए सरकार का अभिनंदन करना चाहिए क्योंकि इससे क्षेत्र के विकास में मदद मिलेगी।
उन्होंने कहा कि इसके विपरीत अनुच्छेद 370 हटाये जाने का विरोध कर रहे हैं। विपक्ष द्वारा सीएए का विरोध किये जाने पर सवाल उठाते हुए राणे ने कहा कि सरकार ने आखिर यह कानून बनाकर क्या गलत किया है। उन्होंने कहा कि इससे किसी भी भारतीय की नागरिकता नहीं जाएगी।