पेगासस जासूसी मामले पर चर्चा की मांग कर रहे विपक्षी दलों के हंगामे के कारण संसद में बने गतिरोध के बीच कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने विपक्ष के नेताओं के साथ मिलकर सरकार को घेरने और दबाव बनाने की रणनीति पर मंगलवार को चर्चा की। वहीं मंगलवार को पेट्रोल और डीज़ल की बढ़ती कीमतों को लेकर अपना विरोध जताने के लिए कांग्रेस नेता राहुल गांधी समेत विपक्ष के अन्य नेता कॉन्स्टिट्यूशन क्लब से साइकिल पर सवार होकर संसद तक पहुंचे।
राहुल गांधी के न्योते पर कई प्रमुख विपक्षी दलों के नेता नाश्ते पर कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में मिले। इस बीच विपक्ष के नेताओं के साथ बैठक में राहुल गांधी ने कहा कि “हमें इस आवाज (लोगों की आवाज) को एकजुट करना होगा, ये आवाज जितनी एकजुट होगी उतनी ही मजबूत होगी। और भाजपा और आरएसएस के लिए इस आवाज को दबाना उतना ही मुश्किल होगा।”
बैठक में राहुल गांधी के अलावा राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, तृणमूल कांग्रेस के नेता कल्याण बनर्जी, शिवसेना के नेता संजय राउत, राजद के मनोज झा और कई अन्य दलों के नेता शामिल हुए। वहीं राहुल गांधी ने जिन सियासी दलों को बुलावा दिया था, उनमें से आम आदमी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी गायब हैं रहे। इनका कोई भी नेता राहुल गांधी की बैठक में नहीं पहुंचा।
कांग्रेस नेता ने विपक्षी नेताओं के साथ नाश्ते पर ऐसे समय बैठक की है जब पेगासस और कुछ अन्य मुद्दों को लेकर पिछले कई दिनों से संसद के दोनों सदनों में गतिरोध बना हुआ है। 19 जुलाई से मॉनसून सत्र आरंभ हुआ था। लेकिन, अब तक दोनों सदनों की कार्यवाही बाधित रही है। विपक्षी दलों का कहना है कि पेगासस जासूसी मुद्दे पर पहले चर्चा कराने के लिए सरकार के तैयार होने के बाद ही संसद में गतिरोध खत्म होगा। संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने विपक्ष की मांग को खारिज करते हुए शुक्रवार को लोकसभा में कहा था कि यह कोई मुद्दा ही नहीं है।